बारिश की बूंदों को सहेजने, पौधरोपण का संकल्प

इटारसी। गर्मी में हर वर्ष लगातार हो रहे भीषण जलसंकट के बाद आगामी वर्षों में ऐसी स्थिति न बने, इसके लिए शहर के कुछ समान विचारधारा के लोग आगे आये हैं। सबका मकसद एक ही है, कि अब बारिश की बूंदों को सहेजा जाएगा, लगभग तीन दशक पूर्व तक समृद्ध रहीं पहाड़ी नदियों को उनका पुराना वैभव लौटाया जाएगा और जमीन में पानी को लंबे समय तक बरकरार रखें, ऐसे पेड़ तैयार करने पौधरोपण किया जाएगा। पानी की पूर्ति के लिए अनिवार्य ये तीन कदम उठाए जाएंगे, नर्मदांचल जल अभियान के बैनर तले।
नर्मदांचल जल अभियान की पहली बैठक रविवार को ईश्वर रेस्टॉरेंट के सभागार में हुई जहां अभियान से जुड़े और जल संरक्षण के प्रति संकल्पित लोगों ने न सिर्फ अपने विचार रखे बल्कि तन, मन और धन से इस अभियान को आगे बढ़ाने का संकल्प भी लिया। इस अभियान से पार्षद, पत्रकार, सामाजिक कार्यकर्ता, अधिवक्ता, व्यापारी, गौसेवक, पर्यावरणविद, खिलाड़ी, शिक्षक, पशुप्रेमी और गणमान्य नागरिक भी जुड़े हैं।
बोरी बंधान से रोकेंगे पहाड़ी नदी का पानी
बैठक में अजय राजपूत ने कहा कि जल का प्रबंधन करना हमारे लिए चैलेंज है। भूमिगत जलस्तर बढ़ाने के लिए पौधरोपण हम सबकी जिम्मेदारी है। उन्होंने उपस्थित सदस्यों को अभियान के तहत अब तक किये गये कार्यों की जानकारी दी और मौजूद सदस्यों से इस पर विचार मांगे। उन्होंने कहा कि अभियान की जानकारी हमारे वाट्स अप ग्रुप पर है, उसे सभी देखें। अभियान की सफलता के लिए धनसंचय भी जरूरी है। श्री राजपूत ने सुझाव दिया कि न्यास कालोनी बायपास को क्रास करके गुजरी पहाड़ी नदी की सफाई करके जल शुद्धिकरण की योजना पर आगे बढ़कर इस पानी को पशुओं के पीने योग्य बनाना है। यहां बोरी बंधान के माध्यम से पानी रोकेंगे तो जलस्तर बढ़ाने में मदद मिलेगी।

वाटर हार्वेस्टिंग में नपा से सहयोग मांगें
पर्यावरण के लिए लंबे समय से काम कर रहे अखिल दुबे ने सुझाया कि वाटर हार्वेस्टिंग, पौधरोपण और एक अन्य बिन्दु का चयन कर काम आगे बढ़ायें। वाटर हार्वेस्टिंग को लेकर नगर पालिका से सहयोग लेकर लोगों को प्रेरित किया जाए। पार्षद यज्ञदत्त गौर ने बताया कि वाटर हार्वेस्टिंग के लिए स्थान चिह्नित कर लिये हैं। नगर पालिका के सहयोग से काम आगे बढ़ाया जाए। सामाजिक कार्यकर्ता मनीष ठाकुर ने कहा कि वाटर हार्वेस्टिंग के लिए टीम बनाकर कार्य करें। पौधरोपण के लिए अभियान के तहत 11 सौ रुपए की राशि तय की गई है। जो भी सदस्य पौधरोपण करने और कराने का इच्छुक होगा, उसे लोगों को प्रेरित करना होगा। प्रति पेड़ 11 सौ रुपए की राशि का खर्च वहन करना होगा। इसमें पेड़, ट्री गार्ड, श्रम, खाद आदि का मूल्य शामिल है। इस दौरान करीब एक दर्जन सदस्यों ने पौधरोपण के लिए सहमति देकर जिम्मेदारी ली।
पुराने ट्री गार्ड का हो सकता है उपयोग
राजकुमार उपाध्याय केलू ने सुझाव दिया कि पूर्व वर्षों में जो पौधरोपण किया गया था, उसमें जो पेड़ बड़े हो गये हैं, उनके ट्री गार्ड का उपयोग किया जा सकता है। इसके लिए नगर पालिका में आवेदन देकर सहमति ले ली जाए। कन्हैया गुरयानी से सदस्यों से ट्री गार्ड की व्यवस्था में आर्थिक सहयोग का अनुरोध किया। शिक्षक अनुराग दीवान ने कहा कि कुछ लोग पौधरोपण तो करने की इच्छा रखते हैं, लेकिन उनको ट्री गार्ड नहीं मिलते। ऐसे लोगों को रियायती दरों पर ट्री गार्ड उपलब्ध कराये तो लोग पौधरोपण की ओर प्रेरित होंगे। पुरुषोत्तम झलिया ने कहा कि एक प्रोजेक्ट लेकर काम शुरु करें ताकि लोग जुड़ सकें।
इस अवसर पर पूर्व पार्षद नीलेश मालोनिया, संदीप, रोहित चौहान, सर्वजीत सिंह सैनी, संजय मनवारे ने भी अपने सुझाव रखे। बैठक में मुस्तफा खान, राजेश सोनकर, राहुल जैसवाल, सुश्री मंजू ठाकुर, चंचल पटैल, साजिद मलिक, संदीप मालवीय, हनी मसीह, शैलेन्द्र शर्मा, रोहित नागे, दीपक परदेशी सहित अनेक सदस्य मौजूद थे।

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