श्रमदान : जलस्रोतों की सफाई और गहरीकरण का उठाया है बीड़ा

इटारसी। नर्मदांचल जल अभियान के अंतर्गत आज भी अनेक संगठनों ने खेड़ा तालाब पर पहुंचकर श्रमदान किया। श्रमदान के अंतर्गत पिछले सप्ताह जो मिट्टी खोदी गयी थी, उसे उठाकर किनारे लगाया साथ ही कुछ साथियों ने तालाब के उत्तरी तट पर खुदाई करके मिट्टी किनारे लगायी है। श्रमदान में नर्मदांचल जल अभियान से जुड़े संगठन परिवर्तन, कोचिंग एसोसिएशन, ड्रीम्स इंडिया मिशन, परिवर्तन संस्था, नव अभ्युदय, जिला हॉकी संघ साईंराजा गौशाला, हेल्पिंग ह्यूमन सहित अन्य संस्थाओं ने भागीदारी निभाई।
उल्लेखनीय है कि नर्मदांचल जल अभियान के अंतर्गत 10 मई से शहर के जल स्रोतों की सफाई, गहरीकरण कर जल संग्रहण बढ़ाने का अभियान शुरू किया है। इस अभियान में जुटे सदस्य रविवार को बड़ी संख्या में आते हैं, जबकि अन्य दिनों में भी सब अपनी सुविधा के अनुसार कुछ ना कुछ योगदान कर रहे हैं। संस्था को इंतजार है, बारिश की पहली बूंद का। पहली रिमझिम के बाद वृहद स्तर पर पौधरोपण की शुरुआत की जाएगी। इसके पहले जल स्रोतों की सफाई और गहरीकरण का काम तेजी से किया जा रहा है। नर्मदांचल जल अभियान ने शहर के अन्य संगठनों से भी अपेक्षा की है कि वे भी इस अभियान में हिस्सेदारी निभाएं ताकि शहर को जल के मामले में समृद्ध कर सकें।

जलस्तर बढ़ाना मुख्य उद्देश्य
नर्मदांचल जल अभियान का मुख्य उद्देश्य तेजी से भूमि के बहुत नीचे जा रहे जलस्तर को फिर पहले की तरह इस स्तर तक लाना है कि शहर में पेयजल का संकट न हो और लोगों को पर्याप्त पानी मिल सके। इसके लिए न सिर्फ शहर के आसपास के जलस्रोतों को पानी से समृद्ध कर बारहमासी करने की योजना है बल्कि शहर को हरियालीयुक्त बनाकर जमीन के भीतर पानी को सहेजना भी है। इस अभियान में केवल जलस्रोतों की सफाई और गहरीकरण ही नहीं है बल्कि वे सब तरीके अपनाए जाएंगे जिससे शहर के जलस्तर में इजाफा किया जा सके।

एक टीम लगी है रीस्टोर में
नर्मदांचल जल अभियान की एक टीम शहर में घरों की छतों पर इकट्ठा होने वाला पानी जमीन में रीस्टोर करने के कार्य में जुटी हुई है। टीम के सदस्य लोगों को वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगवाने के लिए प्रेरित कर रहे हैं और जो लोग इसके लिए तैयार हो रहे हैं, उनके यहां यह कार्य भी किया जा रहा है। अब तक कई लोगों के यहां यह सिस्टम लगाया जा चुका है। टीम के सदस्य लगातार इस अभियान में लगे हैं और कई लोगों ने सोशल मीडिया पर और कुछ ने टेलीफोन पर भी इस सिस्टम के लिए अपनी सहमति देकर रुचि दिखाई है।

बारिश में पौधरोपण होगा
बारिश शुरु होने के साथ ही अभियान के सदस्य पौधरोपण के लिए जुट जाएंगे। दरअसल बारिश का इंतजार है और इससे पहले जलस्रोतों की सफाई और गहरीकरण का कार्य किया जा रहा है। पेड़ लगाने के इच्छुक सदस्य भी बनाये हैं। जो पेड़ लगाने और उसके पोषण की जिम्मेदारी उठाने को तैयार है, उससे निश्चित राशि ली जाएगी। इस राशि में एक बड़ा पौधा, ट्री गार्ड और श्रम का खर्च जुड़ा हुआ है। जो भी व्यक्ति अपने घर या आसपास पेड़ लगाने की जिम्मेदारी उठाने को तैयार होगा, अभियान के तहत उसके यहां पौधरोपण किया जाएगा।

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