आखिर चिंगारा को भी नहीं बचाया जा सका

Post by: Manju Thakur

इटारसी। सोमवार को कुत्तों के हमले में घायल चिंकारा ने भी दम तोड़ दिया। एक हिरण की मौत सोमवार को दोपहर में ही हो चुकी थी। शाम को करीब सवा सात बजे घायल चिंकारा ने भी दम तोड़ दिया। मंगलवार को सुबह पशु चिकित्सक डॉ. सुनील चौधरी ने मृत चिंकारा का पोस्टमार्टम किया। सुबह करीब 10 बजे बागदेव चौकी में चिंकारा का अंतिम संस्कार भी कर दिया गया।
वन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि ये पशु काफी नाजुक होते हैं और इस तरह के किसी हमले को बर्दाश्त नहीं कर पाते हैं, यही कारण है कि ऐसे मामलों में 99 फीसदी उनकी मौत हो ही जाती है। बता दें कि सोमवार को गुरुनानक इंटरप्राइजेस के पास खेड़ा में एक चिंकारा को कुत्तों ने घेरकर नोंच डाला था। इसका उपचार बागदेव चौकी पर किया जा रहा था, लेकिन शाम को करीब सवा सात बजे उसने दम तोड़ दिया। स्वप्नेश्वर मंदिर मालवीयगंज के पास स्थित एक धान के खेत में भी एक नर हिरण को घेरकर कुत्तों ने नोंच डाला था, जिसकी कल दोपहर में ही मौत हो गयी थी।

error: Content is protected !!