गंदगी फैलाने वालों से अब सख़्ती से निबटेगी नगर पालिका
इटारसी। यदि आप शहर को साफ रखने में रुचि नहीं रखते, एक अच्छे नागरिक का परिचय नहीं देते, अपनी दुकान का कचरा लापरवाही से सड़क पर फैक देते हैं, तो यह ख़्ाबर आपको सचेत करने के लिए है। आपको अब अपनी यह आदत बदल लेनी चाहिए। अन्यथा आप का बड़ा नुकसान होना तय है। नगर पालिका अब ऐसे व्यापारियों की दुकान निरस्त करने के लिए गंभीर हो गई है।
मुख्य नगर पालिका अधिकारी सुरेश दुबे ने बताया कि नगर पालिका ने शहर की सफाई व्यवस्था को सुचारू बनाने के लिए अपने संसाधनों से अनेक प्रयास किए लेकिन बाजार क्षेत्र की सफाई व्यवस्था, कतिपय व्यापारियों द्वारा सहयोग नहीं करने से सुधर नहीं पा रही है। इन हालातों में शहर की छवि खराब होती है। नगर पालिका ने अब निर्णय लिया है कि सफाई, अतिक्रमण की रोकथाम और पॉलिथिन पर पाबंदी को लेकर सख़्त कदम उठाए जाएंगे। उन्होंने बताया कि अब बाजार में किसी भी दुकान दार चाहे वह कपड़ा व्यापारी हो, किराना, मिर्च-मसाला या किसी भी प्रकार की दुकान हो, यदि उस पर उपरोक्त चीजों में तीन बार जुर्माना हो गया, उसकी दुकान का आवंटन स्वमेव निरस्त माना जाएगा। ऐसे में नगर पालिका उसे नोटिस देकर आवंटन निरस्त करने की केवल सूचना देगी।
बाज़ार में नहीं हो रहा है सुधार
नगर पालिका शहर को साफ-सुथरा बनाए रखने के लिए अनेक जतन कर रही है। शहर में कचरा एकत्र करने के लिए वाहन चलाए जा रहे हैं। इन वाहनों पर बाकायदा व्यापारियों से भी निवेदन किया जा रहा है कि वे कचरा डस्टबिन में ही डालें, बावजूद इसके बाजार में दुकानदारों पर इस अनुरोध का कोई असर नहीं हो रहा है और हर रोज रात को 9 बजे के बाद पूरा बाजार कचरे से पटा पड़ा रहता है। नगर पालिका बाज़ार में शाम को 7 बजे से ट्राली घुमाती है ताकि बाजार का कचरा दुकानदार इसमें डाल दें, बावजूद इसके व्यापारी अपने कर्मचारी तक को ट्राली में कचरा डालने को प्रेरित नहीं करते, ना ही खुद कचरा इसमें डालते हैं। रात को 9 बजे जब दुकान बंद की जाती है तो दुकान के भीतर का सारा कचरा रोड पर डालकर चले जाते हैं। व्यापारियों का यह व्यवहार जिम्मेदार नागरिकों जैसा नहीं लगता। इन हालात में अब नगर पालिका को मजबूरी में सख़्ती करना पड़ रही है।
इनका कहना है…!
लगातार निवेदन और चेतावनी के बावजूद कई दुकानदार अपनी आदतें नहीं सुधार रहे हैं। रात के वक्त दुकान का सारा कचरा सड़क पर फैक जाते हैं। जुर्माना करने पर भी उनको $फर्क नहीं पड़ता और जुर्माना अदा कर देते हैं, लेकिन आदत नहीं सुधारते। अब ऐसे दुकानदारों के लिए हमने निर्णय लिया है कि तीन बार जिसकी दुकान का जुर्माना हो जाएगा, उसकी दुकान निरस्त मान ली जाएगी।
सुरेश दुबे, सीएमओ