इटारसी। नार्मदीय ब्राम्हण समाज के 17वे राष्ट्रीय महाअधिवेशन का समापन आज हो गया। समापन अवसर पर राष्ट्रीय अध्यक्ष सुभाष मोयदे ने कहा अगली बार जब हमारे संगठन का 100 वा वर्ष होगा, तब मिलेंगे तो दृष्टि पत्र के प्रस्तावों पर 100 प्रतिशत अमल हो चुका हो इस तरह का हमें प्रयास करना है। समापन सत्र में मुख्य अतिथि के तौर पर खनिज निगम के अध्यक्ष शिव चौबे मौजूद थे। उन्होंने समाज के लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि यह ब्रम्ह शक्ति समाज में वंदनीय है। नार्मदीय समाज अपनी एकता व बुद्धि के कारण अपनी विशिष्ठ पहचान रखती है।
समाज के लोगों ने श्री चौबे से कहा कि वे नर्मदा जयंती पर अवकाश घोषित कराएं। इस पर श्री चौबे ने कहा कि अबसे मां नर्मदा जयंती का अवकाश तो होगा, लेकिन अभी घोषणा नहीं होगी। इस अवसर पर स्वागत भाषण प्रमोद पगारे ने दिया एवं सत्र का संचालन महेंद्र शुक्ला ने किया। सत्र को संबोधित करते हुए शहडोल कलेक्टर मुकेश शुक्ला ने कहा कि मातृशक्ति, युवा शक्ति समाज के साथ ही राष्ट्र की शक्ति है। हमें अपनी उर्जा का सदुपयोग सकारात्मक भाव से करना चाहिए।
कार्यक्रम में आयोजन समिति के अध्यक्ष प्रमोद पगारे को समाज की ओर से मां नर्मदा की संगमरमर से बनी प्रतिमा दी गई। श्री पगारे ने कहा कि प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा श्री दुर्गा नवग्रह मंदिर में कराएंगे। अधिवेशन में समाज ने महिला मंडल की अध्यक्ष के चुनाव कराएं। जिसमें खंडवा की सुनीता सकरगाय दोबारा से अध्यक्ष चुनी गईं। वहीं उनके विपक्ष में खड़ी भोपाल की अनिता राजवैध को महासभा का उपाध्यक्ष बनाया गया। इसी तरह युवा शाखा के अध्यक्ष विश्वदीप मोयदे बने हैं। नार्मदीय ब्राम्हण महासभा के राष्ट्रीय सम्मेलन के द्वितीय दिवस समाज की 10 विभूतियों को आजीवन सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया। सम्मानित होने वालों में काशीनाथ अमलाथे, प्रो. वीके निलोसे, एसआर जोशी, ओपी अत्रे, गोरेलाल बारचे, रामकृष्ण बलवरे, सुदामा प्रसाद शर्मा, मरणोंपरांत स्व. कैलाश नारायण बिल्लोरे, स्व राधेश्याम शर्मा को सम्मानित किया गया।