शिक्षकों से दूसरे काम लेने पर स्थगन

विपिन जोशी स्मारक समिति ने किया स्वागत

विपिन जोशी स्मारक समिति ने किया स्वागत
इटारसी। हाईकोर्ट ग्वालियर के न्यायमूर्ति शील नागू एवं न्यायमूर्ति एके जोशी हाईकोर्ट की डिवीजन बेंच ने शिक्षकों से गैर-शैक्षणिक कार्य कराने पर रोक लगा दी है। उक्त फैसले का स्वागत 33 वर्षों से शिक्षक सम्मान करने वाली संस्था विपिन जोशी स्मारक समिति के अध्यक्ष रमेश के साहू एडव्होकेट ने किया है।
श्री साहू ने कहा कि अधिवक्ता साथी अवधेश सिंह भदौरिया ने न्यायालय को बताया कि शौचालय के गड्डे खुदवाने, सामूहिक विवाह में पूड़ी बाटने, सर्वे कार्य करने, खुले में शौचालय जाने से रोकने, प्याज बेचने, कुंभ में जूते-चप्पल स्टैंड पर ड्यूटी जैसे गैर शैक्षणिक कार्य शिक्षकों से कराये जा रहे जो कि शिक्षा का अधिकार अधिनियम आरटीई 2009 की धारा 27 के तहत चुनाव जनगणना और आपातकालीन स्थिति में शिक्षकों से अन्य कार्य कराने की अनुमति है के विरुद्ध है। हाईकोर्ट ग्वालियर द्वारा अर्चना राठौर की जनहित याचिका पर शिक्षकों से गैर शैक्षणिक कार्य कराने पर रोक लगाकर केन्द्र व राज्य सरकार से 4 सप्ताह में जबाव दिये जाने के आदेश दिये गये हंै।
श्री साहू ने कहा कि फैसले से शिक्षकों के सम्मान में वृद्धि होगी तथा शिक्षा का स्तर सुधरेगा। फैसले का समिति के उपाध्यक्ष अनिल झा, सचिव चन्द्रप्रकाश अग्रवाल, संतोष सरवरिया, राजेश दुबे, शरद गुप्ता, विनीत चौकसे, डॉ.संजय गुप्ता, अनिल बस्तवार, नीलेश जैन, अशोक मालवीय, संतोष अग्रवाल, संजय शिल्पी, पंकज राठौर, राजेन्द्र अग्रवाल, उमेश साहू, मयूर जायसवाल, अभय दुबे, सुरेन्द्र सोनी, विक्रान्त बड़कुल, संजय लीलाधर साहू, हेमंत दुबे, हरीश अग्रवाल, मो. उमर खान, मंजू ठाकुर, सुरभि नामदेव ने स्वागत किया है।

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