141 पेड़ चोरी का मामला : फरार आरोपी को किया गिरफ्तार

इटारसी। ट्रैक्टर स्कीम पुरानी इटारसी में प्रस्तावित बस स्टैंड की जमीन से काटे गए 141 पेड़ों की चोरी होने के मामले का फरार आरोपी राजू उर्फ बलवीर बैस को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। उसे शनिवार को कोर्ट में पेश किया जाएगा। बता दें कि प्रस्तावित बस स्टैंड परिसर से काटे गये पेड़ों की कीमत लगभग 50 लाख रुपए बताई गई थी। शुरुआत में अज्ञात पर पेड़ों की चोरी की एफआईआर दर्ज की थी। नगर पालिका के प्यून मुकेश सोनकर की शिकायत पर यह मामला दर्ज किया गया था।
प्रस्तावित बस स्टैंड से लगभग पचास लाख के पेड़ काटकर बेचने के मामले में पुलिस को पूर्व सरपंच एवं भाजपा ग्रामीण मंडल मंत्री राजू बैस की तलाश लंबे समय तक रही। पेड़ चोरी के मामले में पूर्व में गिरफ्तार अनिल चौरे ने पुलिस रिमांड के दौरान उसका नाम बताया था, पुलिस तभी से राजू बैस की तलाश कर रही थी। पेड़ कटवाने में राजू बैस का नाम सामने आया था। पुलिस अधीक्षक एमएल छारी के निर्देशन में थाना प्रभारी राघवेन्द्र सिंह चौहान, उपनिरीक्षक राधाकांत राय, सउनि श्री शुक्ला एवं उनकी टीम ने आरोपी बलवीर उर्फ राजू पिता लालसिंह बैस को पेड़ चोरी के मामले में गिरफ्तार किया है, जिसे न्यायालय पेश किया जाएगा। पूर्व में गिरफ्तार आरोपी अनिल चौरे ने पुलिस को बताया था कि राजू बैस ने ही उससे कहा था कि पेड़ कटाई का काम मिला है। राजू की गिरफ्तारी के बाद उससे पूछताछ में और भी नामों का खुलासा हो सकता है। पुलिस मामले में काटे गये पेड़ों की लकड़ी भी जब्त कर चुकी है और एक आरोपी को पूर्व में गिरफ्तार कर चुकी है। जिन मजदूरों ने पेड़ काटे थे, उनके बयान भी हो चुके हैं।

इनका कहना है…!
कृषि अभियांत्रिकी की पुरानी इटारसी स्थित जमीन पर प्रस्तावित बस स्टैंड की भूमि से 141 पेड़ काटे जाने के मामले में फरार आरोपी बलवीर उर्फ राजू बैस को गिरफ्तार कर लिया है। उसे कल कोर्ट में पेश किया जाएगा।
राघवेन्द्र सिंह चौहान, टीआई

ऐसे चली थी जांच
बता दें कि शिकायत के बाद 24 फरवरी 2018 को स्थल निरीक्षण के दौरान 11 से अधिक प्रजातियों के 141 पेड़ काटा जाना पाया गया था और मौके पर इन पेड़ों की ठूंठ मिली। पेड़ों के तने, टहनियां और पत्ते नदारद थे। इस शिकायत पर आरआई व पटवारी से भूमि के स्वामित्व व कब्जे का प्रतिवेदन लिया व खसरा नकल प्रस्तुत की गई। जांच के बाद राजस्व निरीक्षक ने एसडीएम को प्रतिवेदन दिया। इसमें बताया कि पेड़ अज्ञात लोग काटकर ले गए। इस मामले की जांच आगे बढ़ी तो जमीन नपा के आधिपत्य की पाई गई। विगत 27 जुलाई 19 को पटवारी ने एक प्रतिवेदन दिया। इसमें बताया गया कि लगभग ढाई हेक्टेयर नजूल की सरकारी भूमि में से 1.29 हेक्टेयर जमीन नगरपालिका ने प्रस्तावित बस स्टैंड के लिए मांगी थी। नायब तहसीलदार के 2013-14 के पत्र तथा कलेक्टर के 2017-18 में पारित आदेश अनुसार मुख्य नगरपालिका अधिकारी को उक्त जमीन नवीन बस स्टैंड के निर्माण हेतु दी गई। इसकी स्वीकृत सशर्त थी कि जमीन का उपयोग सार्वजनिक प्रयोजन हेतु किया जाए। नपा ने इस जमीन पर बाउंड्रीवॉल बनवाई और बस स्टैंड के लिए भूमिपूजन भी किया था।

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