कार्यशाला में बीज प्रमाणीकरण, जैविक खेती और बागवानी पर विचार मिले

Post by: Aakash Katare

इटारसी। शासकीय महात्मा गांधी स्मृति स्नातकोत्तर महाविद्यालय, इटारसी (Government Mahatma Gandhi Memorial Post Graduate College, Itarsi) में दस दिवसीय कार्यशाला के तीसरे दिन बीज प्रमाणीकरण, जैविक खेती एवं बागवानी विषय पर वक्ताओं ने विचार रखे।

डॉ. नेहा शर्मा कीट विज्ञानी कृषि महाविद्यालय पवारखेड़ा (Dr.Neha Sharma Entomologist Agriculture College Pawarkheda) से कीट विज्ञान का बागवानी व विभिन्न फसलों पर पाये जाने वाले कीटों व प्रमुख कीटों की प्रजातियों उनका प्रजनन एवं उनके जीवन चक्र के बारे में बताया।

साथ ही कहा कि भारत में लाख उत्पादन प्रथम रेशम उत्पादन, द्वितीय शहद, मधुमक्खी उत्पादन विश्व में प्रमुख स्थान रखता है। लाख उत्पादन करने वाला कीट लेसिकर लेका, रेशम बाम्बेक्स मौराई के महत्व को कृषि में समझाया।

प्राचार्य डॉ. राकेश मेहता (Principal Dr. Rakesh Mehta) ने अतिथियों का स्वागत किया एवं विभिन्न कीटों जैसे- एफिड, वेक्टर, एपिजोइक के आवास के बारे में बताया।

वनस्पतिषास्त्र, जैव प्रौधिगिकी प्राध्यापक अंकिता पाण्डे, दीक्षा पटैल,  ज्योति चैहान, डॉ. शैलू सिंह, रीना उइके एवं डॉ. मीनू शर्मा मौजूद रहे।  समन्वयक डॉ. दिनेश कुमार, डॉ. सौरभ पगारे, का विशेष सहयोग रहा।  

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