वक्त की पाबंदी और अनुशासन सर्वोपरि रहेगा
कामकाज के पहले दिन सीएमओ ने बतायी अपनी मंशा
मुख्य बिन्दु
निर्माण में गुणवत्ता से नहीं होगा कोई समझौता
जनता के काम करने दो दिन का वक्त मुकर्रर
स्वच्छता, राजस्व वसूली, ड्रेसकोड आवश्यक
इटारसी।मुख्य नगर पालिका अधिकारी अक्षत बुंदेला ने आज नगर पालिका कर्मचारियों से परिचयात्मक बैठक में ही अपने काम करने के तरीके और मंशा से सभी कर्मचारियों और अधिकारियों को अवगत करा दिया है। राजस्व वसूली में ईमानदारी, सख्ती के साथ टारगेट भी दिए हैं। इसी तरह डे्रस कोड में समझौता नहीं होगा। कर्मचारी यूनिफार्म पर नहीं होंगे तो अनुपस्थित माने जाएंगे। काम के वक्त अधिकारी-कर्मचारी का अपनी कुर्सी पर रहना अनिवार्य होगा। किसी भी शाखा की फाइल के वहां से आगे आने-जाने की तारीख दर्ज करना जरूरी होगा। कर्मचारी को वक्त का पाबंद होना होगा और हितग्राहीमूलक योजना और जनसमस्या के समाधान के लिए दो दिन का वक्त मुकर्रर किया है। रिक्त भूखंड मालिकों के लिए भी सख्त कार्रवाई के संकेत हैं। खुले प्लाट पर गंदगी में भारी जुर्माना किया जाएगा।
बैठक में स्वास्थ्य अधिकारी एसके तिवारी, स्वच्छता निरीक्षक आरके तिवारी, कार्यालय अधीक्षक संजय सोहनी, आरआई बीएल सिंघावने सहित सभी विभागों के विभाग प्रमुख उपस्थित थे।
ड्रेसकोड, वक्त की पाबंदी
सीएमओ श्री बुंदेला ने कर्मचारियों से आज दोपहर मीटिंग में सबसे पहले परिचय प्राप्त किया। इसके बाद राजस्व विभाग के अधिकारी और कर्मचारियों से चर्चा में पिछले वर्ष के मुकाबले इस वर्ष बीस फीसदी अधिक का लक्ष्य दिया है। इसके साथ ही मंगलवार से ही सभी अधिकारी और कर्मचारियों को यूनिफार्म पर आना अनिवार्य होगा। जो यूनिफार्म पर नहीं आएगा, उसे उस दिन अनुपस्थित माना जाएगा। इसी के साथ ही नगर पालिका दफ्तर के टाइम 10:30 बजे सभी को अनिवार्य रूप से उपस्थित होना पड़ेगा। जो वक्त पर कार्यालय नहीं पहुंचेगा, उसे भी अनुपस्थित माना जाएगा।
आपत्ति निर्माण के दौरान
मुख्य नगर पालिका अधिकारी ने तकनीकि और निर्माण शाखा से अपेक्षा की है कि वे निर्माण कार्यों में गुणवत्ता का खास ख्याल रखेंगे। किसी भी कार्य की गुणवत्ता से किसी प्रकार का समझौता नहीं होगा। उन्होंने पार्षदों से भी अपेक्षा की है कि जिस वक्त काम चल रहा हो, गुणवत्ता संंबंधी या किसी प्रकार की कोई शिकायत हो, तभी दर्ज कराएं। काम पूर्ण हो जाने के बाद इस तरह की किसी शिकायत का कोई मतलब नहीं होता है। उन्होंने कहा कि काम पूर्ण हो जाने के बाद मिलने वाली शिकायत का निराकरण संभव नहीं होगा। गुणवत्ता की शिकायत आने पर ईमानदारी से तकनीकि जांच होगी।
तो रुकेगी वेतन वृद्धि
सफाई, बिजली, पेयजल जैसी मूलभूत आवश्यकता के साथ ही हितग्राहीमूलक योजना संबंधी शिकायतों का निराकरण दो दिन में करना होगा अन्यथा की स्थिति में सीआर में इसका स्पष्ट उल्लेख करके वेतनवृद्धि रोकने की कार्रवाई की जाएगी। इसी तरह से हर विभाग के कर्मचारी को स्वयं और परिजनों के मोबाइल में स्वच्छता एप डाउन लोड करना होगा। जनता से जुड़ी समस्या को लेकर जो आएंगे, उनके मोबाइल में स्वच्छता एप डाउनलोड कराने के निर्देश दिए। कर्मचारियों को स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि कुर्सी पर ज्यादा से ज्यादा बैठें, ताकि जनता की समस्याओं का समाधान हो सके।