ओलावृष्टि से हुए नुकसान का आकलन कर शासन को मुआवजा राशि का प्रस्ताव भेजा जाएगा

Post by: Rohit Nage

  • – नापतौल विभाग मंडी में स्थापित तौल कांटों को सत्यापित करेंगे
  • – ओलावृष्टि से फसल नुकसान को लेकर किसानों से चर्चा की
  • – इटारसी मंडी सचिव को कारण बताओ नोटिस देने के निर्देश

नर्मदापुरम। कलेक्टर सोनिया मीना ने आज कलेक्ट्रेट में बैठक लेकर ओलावृष्टि से हुई फसल नुकसान एवं प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना अंतर्गत किसानों को फसल बीमा में आ रही दिक्कतों को दूर करने के लिए किसान प्रतिनिधियों एवं किसानों से चर्चा की। किसानों ने कलेक्टर को विभिन्न समस्याओं से अवगत कराया। किसान प्रतिनिधियों ने बताया कि बारिश के कारण गेहूं की फसल खराब हुई है। बीमा कंपनी राहत राशि देने में अनावश्यक विलंब कर रही है। बहुत से किसानों को पता ही नहीं है कि बैंक ने उनकी किस फसल का बीमा कराया है। सिवनी मालवा में कई गांव की फसल ओलावृष्टि से चौपट हुई है।

किसानों ने कलेक्टर से कहा कि तत्काल सर्वे कराकर राहत राशि देना सुनिश्चित करें। अतिवृष्टि एवं ओलावृष्टि से छोटे किसानों की कमर टूट गई है। किसानों ने बताया कि बीमा कंपनी से तालमेल न होने के चलते नुकसान का आकलन नहीं हो पा रहा है। ऊपर से जो फसल का बीमा है, उसी फसल की राहत राशि का प्रीमियम जमा कराया गया है। जबकि कुछ किसानों ने गेहूं की जगह चना की फसल भी लगाई थी। कुछ किसानों ने बताया कि चने का प्रीमियम दिया है लेकिन गेहूं की फसल बोई थी। पटवारी गिरदावरी करते हैं तो फसल में भिन्नता आती है। कुछ किसानों की गिरदावरी गलत अपलोड हुई है। पटवारी ने जो गिरदावरी की है वह पोर्टल पर नहीं दिख रहा है ।

बीमा कंपनी का सहयोग प्राप्त नहीं हो रहा है। यदि किसान का एक हल्के में नुकसान हुआ है और दूसरे हल्के में फसल ठीक है, तो राहत राशि मिलने में दिक्कत पैदा हो रही है। कलेक्टर ने सभी किसानों की समस्याओं को ध्यान से सुना और कहा कि सभी किसानों की समस्याओं का यथासंभव निराकरण किया जाएगा। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना का लाभ किसानों को मिलेगा और ओलावृष्टि से जो फसल का नुकसान हुआ है उसका जल्द ही आकलन करके राहत राशि का प्रस्ताव शासन स्तर पर भिजवाया जाएगा। बीमा कंपनी भी सेटेलाइट सर्वे कर रही है। सेटेलाइट के द्वारा होने वाले सर्वे और उसके आंकड़े भी मान्य है। किसी भी कीमत पर समर्थन मूल्य से नीचे गेहूं नहीं खरीदा जाएगा। बताया गया कि गेहूं पंजीयन की तिथि 7 मार्च तक के लिए बढ़ा दी गई है।

कलेक्टर ने तौल कांटों की शिकायत प्राप्त होने पर कहां की नापतोल विभाग तौल कांटों को सत्यापित करेंगे। किसान प्रतिनिधियों एवं किसानों ने इटारसी मंडी सचिव की शिकायत करते हुए बताया कि मंडी सचिव अनुपस्थित रहते हैं। मंडी सचिव प्रभार में है, मंडी में स्थाई सचिव की नियुक्ति की जाए। बैठक में अनुपस्थित रहने पर कलेक्टर ने इटारसी कृषि उपज मंडी सचिव को कारण बताओ नोटिस देने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने कहा कि एक सप्ताह में समस्त कार्रवाई विवरण तैयार कर लिया जाएगा। बैठक में उपसंचालक कृषि जेआर हेडाऊ, डीएसओ ज्योति जैन, जिला पंजीयक शिवम मिश्रा तथा किसान संघों के प्रतिनिधि मौजूद थे।

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