- 10 स्वसहायता समूहों को 30 लाख से अधिक का ऋण उपलब्ध कराया
- दोना-पत्तल, बड़ी, पापड़, वर्मी कंपोस्ट, सिलाई कढ़ाई से मिला रोजगार
- जीवन में दोहरी कमाई होने से महिलाओं के चेहरों पर खुशियां बिखेरी
नर्मदापुरम। नगरपालिका (Municipality) में संचालित दीनदयाल अंत्योदय राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन (Deendayal Antyodaya National Urban Livelihood Mission) से महिलाओं के जीवन बदलाव आया है। वे अब रोजगार प्राप्त करने वाली नहीं रोजगार देने वाले बन गई हैं। डे एनयूएलएम (DE NULM) के माध्यम से 10 स्वसहायता समूहों को करीब 30 लाख से अधिक की आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई हैं, जिससे स्वसहायता समूहों की महिलाएं अपना स्वयं का व्यवसाय करने में सक्षम हुई हैं। स्वसहायता समूह से जुडक़र महिलाएं दोना पत्तल, वर्मी कंपोस्ट, सिलाई, कढ़ाई और बड़ी, पापड़ की सप्लाई करने का कार्य कर रहीं हैं।
30 लाख से अधिक ऋण उपलब्ध कराया
सिटी मिशन मैनेजर दिव्या मिश्रा (City Mission Manager Divya Mishra) ने बताया कि नगरपालिका अध्यक्ष नीतू महेंद्र यादव (Neetu Mahendra Yadav) और मुख्य नगरपालिका अधिकारी हेमेश्वरी पटले (Hemeshwari Patle) के मार्गदर्शन में विगत तीन माहों में 10 स्वसहायता समूहों को 30 लाख से अधिक का ऋण उपलब्ध कराया गया है। समूह की महिलाओं द्वारा उक्त ऋण का बेहतरीन उपयोग किया है। अब वे महिलाएं जॉब पाने वाली नहीं, जॉब देने वाली बन गई हैं। स्वसहायता समूहों से जुड़ी महिलाएं एक साथ अनेक व्यवसाय कर रहीं हैं। डे एनयूएलएम की सिटी मैनेजर दिव्या मिश्रा के साथ उनकी टीम भी कार्य कर रही हैं।
कुबेर स्वसहायता समूह उदाहरण
सिटी मैनेजर दिव्या मिश्रा ने बताया कि हरियाली के पास स्थित कुबेर स्वसहायता समूह (Kuber Self Help Group) की संचालित विनीता प्रजापति हैं। वे दोना पत्तल के साथ ही वर्मी कंपोस्ट बनाने का कार्य करती हैं। जैविक खाद बनाकर कृषि विभाग को सप्लाई करती हैं। इस कार्य में 10 महिलाओं को जोडक़र रोजगार दे रहीं हैं। इसके साथ ही बाकी के 9 समूह भी अच्छा कार्य कर रहे हैं।
पात्रों को दिया जा रहा लाभ
पात्र हितग्राहियों और स्वसहायता समूहों को शासन की योजनाओं से जोडक़र लाभांवित किया जा रहा है। ऋण उपलब्ध कराने के साथ ही उनको समय-समय पर प्रशिक्षण दिया जाता है। जिससे उनका व्यवसाय आगे बढ़ता रहे।
हेमेश्वरी पटले, सीएमओ
स्वरोजगार से जुडें
केंद्र और राज्य सरकार की योजनाओं के माध्यम से पात्र हितग्राहियों को लाभांवित किया जा रहा है। स्वसहायता समूहों की महिलाओं ने स्वयं का रोजगार स्थापित कर परिवार पालन पोषण कर रहीं हैं, जो भी पात्र हितग्राही होगा उसे लाभान्वित किया जाएगा।
नीतू महेंद्र यादव, नपाध्यक्ष