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किसान ने की फ्री सेंपल वाले बीज बेचने की शिकायत

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  • – उपसंचालक कृषि का कहना, यह कंपनी और विक्रेता के बीच का मामला
  • – फर्टिलाइजर विक्रेता ने किसान को 25 हजार के नॉट फॉर सेल के बीज बेचे
  • – दुकानदार ने कहा, कर्मचारी की गलती से हुआ, किसान से पैकेट वापस मांगे
  • – किसान ने सारे बीज बो दिये, अब वापस नहीं देकर शिकायत कर रहा- दुकानदार

इटारसी। शहर के कैलाश विहार कालोनी स्थित एक खाद-बीज विक्रेता पर पथरोटा के एक किसान ने कंपनी से मिले फ्री सेंपल वाले बीज बेचने की शिकायत उपसंचालक कृषि, एसडीएम और 181 पर की है। किसान का कहना है कि उसने जब बोवनी के लिए पैकेट खोले तो उसकी निगाह नॉट फॉर सेल लिखे वाक्य पर पड़ी। किसान ने तत्काल विक्रेता को फोन लगाया तो विक्रेता ने कहा कि बीज खराब नहीं है।

किसान ने नॉट फॉर सेल वाले बीज बेचने की शिकायत उपसंचालक कृषि, 181 और एसडीएम को करते हुए विक्रेता पर धोखाधड़ी के लिए कार्रवाई करने की मांग की है। हालांकि इस मामले में उपसंचालक कृषि का कहना है कि यह विक्रेता और कंपनी के बीच का मामला है, हमें तो अनुमति देखना होता है, हम तो लायसेंस देखते और यदि खराब बीज होता है तो कार्रवाई करते हैं। बता दें कि पथरोटा के उन्नत किसान अमित पिता चंद्र भान वर्मा को इटारसी के कैलाश विहार स्थित साहू खाद बीज विक्रेता ने करीब 25 हजार रुपए का पायोनियर पी 3524 किस्म की मक्का का बीज बेचा जो कि नॉट फॉर सेल वाला है। किसान ने शिकायत में कहा कि उसके साथ धोखाधड़ी की गई है।

प्रदर्शन के लिए बीज देती है कंपनी

दरअसल बीज कंपनी अपने बीज का प्रदर्शन करने के लिए सेंपल पैकेट बनाती है और कृषि विभाग और एजेंटों के माध्यम से किसानों को कुछ मात्रा में बोने के लिए दिया जाता है, ताकि इस बीज और कंपनी का प्रचार हो सके। इस बीज को बाजार में बेचने की अनुमति नहीं होती है। किसान अमित वर्मा ने बताया कि उन्होंने 27 जून और 30 जून को दो बार पायोनियर 3524 का बीज के 15 पैकेट खरीदे थे। एक पैकेट 17 सौ रुपए कीमत का था इस तरह करीब 25 हजार रुपए का बीज खरीदा था। दुकानदार ने पूरा बीज सेंपल का दे दिया, साथ ही बिल भी दिया। अमित वर्मा ने बताया कि उन्होंने बीज खरीदा और घर ले आए उसके बाद खेत में जब बोवनी की तो पैकेट को गौर से देखा। कहीं बीज फेल न हो जाए सोचकर बीज विक्रेता को फोन पर जानकारी दी कि तुमने ये फ्री सेंपल वाला बीज कैसे बेच दिया तो दुकानदार ने कहा बीज खराब नहीं है। किसान ने इस तरह सेंपल बीज को बाजार में बेचने की शिकायत कृषि विभाग उपसंचालक, एसडीएम सहित 181 पर कर कार्यवाही की मांग की है।

विक्रेता ने कहा, गलती से गया बीज

  • इस मामले में बीज विक्रेता मनोज साहू का कहना है कि उस दिन वे दुकान पर नहीं थे, एक नया कर्मचारी था, उसने किसान को पैकेट निकालकर दिये। दूसरे कर्मचारी ने बिल बनाकर दे दिया। उनको भी तब पता चला जब किसान का फोन आया। उन्होंने किसान को कहा कि आप सेंपल वाला बीज वापस ले आएं और दूसरा बीज ले जाएं। किसान ने कहा कि उसने सारा बीज बो दिया है और चूंकि बीज नॉट फॉर सेल का है, इसलिए आप मेरे पैसे वापस करें। मैंने कहा कि बीज ला दो, पैसे ले जाओ। किसान ने कहा कि वह शिकायत करेगा कि मैंने सेंपल के बीज बेचे। श्री साहू ने कहा कि उन्होंने कंपनी की जानकारी में यह घटना दे दी है, कंपनी ने कहा है कि जितने सेंपल के बीज गये हैं, उतने पैकेट कंपनी को आप अपने स्टॉक से वापस कर दें। हम कंपनी को 14 पैकेट वापस भी कर रहे हैं। ऐसे में शिकायत का केवल इतना आशय है कि उन्होंने मुझसे कहा कि ये सारे पैकेट उसे फ्री में चाहिए, हमने कहा कि एक पैकेट सेंपल के लिए फ्री दे सकते हैं, किसान को सारे पैकेट फ्री चाहिए थे, हमने नहीं दिये तो किसान ने शिकायत की। मनोज साहू ने कहा कि कंपनी सेंपल के एक-एक पैकेट का हिसाब रखती है, जिन किसानों को दिया जाता है, उससे फीडबैक लिया जाता है, ऐसे में हम सेंपल के बीज बेच ही नहीं सकते।

इनका कहना

वैसे तो फ्री सेंपल का बीज बेचा नहीं जा सकता, लेकिन यदि विक्रेता ने कंपनी से अनुमति ली हो तो बेच सकता है। यह पूरी तरह से विक्रेता और कंपनी के बीच का मामला है, हम तो अनुमति देखते हैं, यदि बीज खराब निकले तो कार्रवाई करते हैं।

जेआर हेडाऊ, डीडीए नर्मदापुरम

Rohit Nage

Rohit Nage has 30 years' experience in the field of journalism. He has vast experience of writing articles, news story, sports news, political news.

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