सीवरेज ट्रीटमेंट प्रोजेक्ट कार्य में लापरवाही पर कॉन्ट्रैक्ट के विरुद्ध कार्यवाही के निर्देश

Post by: Poonam Soni

होशंगाबाद।  जिले में सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट (Sewerage treatment plant) बनाने का कार्य युद्ध स्तर पर किया जाए। प्रोजेक्ट शीघ्र पूर्ण हो यह सुनिश्चित करें। यह निर्देश कलेक्टर धनंजय सिंह (Collector Dhananjay Singh) ने कार्य एजेंसी सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट मध्य प्रदेश अर्बन डेवलपमेंट कंपनी लिमिटेड, भोपाल के परियोजना प्रबंधक एल एस बघेल (Project Manager LS Baghel) को दिए। कलेक्टर ने शनिवार को जिले में प्रगतिरत सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट प्रोजेक्ट की विस्तृत समीक्षा की। बैठक में एसडीएम आदित्य रिछारिया, मुख्य नगरपालिका अधिकारी होशंगाबाद माधुरी शर्मा सहित लोक परियोजना इकाई एवं मध्यप्रदेश अर्बन डेवलपमेंट कंपनी लिमिटेड के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहें।

कांट्रेक्टर के विरुद्ध कड़ी वैधानिक कार्यवाही के निर्देश
कलेक्टर सिंह ने एमपीयूडीसी के अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि सीवरेज ट्रीटमेंट कार्य में स्पष्ट निर्देशों के बावजूद भी ठेकेदार द्वारा काम में लगातार उदासीनता बरती जा रही है। उन्होंने सीवरेज ट्रीटमेंट कार्य में अनावश्यक देरी और लापरवाही बरतने पर कांट्रेक्टर मेसर्स टहल कंसल्टिंग इंजीनियर्स लिमिटेड, गुड़गांव के विरुद्ध एमपीयूडीसी के साथ अनुबंध की शर्तों के उल्लंघन के लिए वैधानिक नोटिस जारी करने के निर्देश परियोजना प्रबंधक पीआईयू को दिए है। साथ ही इसके बाद भी काम में अपेक्षा अनुरूप प्रगति ना लाई जाती है, तो ठेकेदार के खिलाफ कड़ी वैधानिक कार्यवाही भी की जाए। उन्होंने परियोजना अधिकारी एमपीयूडीसी एवं नोडल सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट को प्रोजेक्ट के अनावश्यक विलंब पर विस्तृत रिपोर्ट देने के निर्देश दिए। उल्लेखनीय है कि एमडी एमपीयूडीसी, भोपाल द्वारा भी ट्रीटमेंट प्लांट के कॉन्ट्रैक्टर को 2 माह में कार्य में प्रगति लाने के सख्त निर्देश दिए गए है।

अधिकारियों द्वारा प्लांट का किया गया मौका निरीक्षण
कलेक्टर सिंह के निर्देशानुसार आज एसडीएम, मुख्य नगरपालिका अधिकारी एवं एमपीयूडीसी के अधिकारियों एवं कॉन्ट्रैक्टर द्वारा सीवरेज ट्रीटमेंट प्रोजेक्ट का मौका निरीक्षण किया गया। मुख्य नगरपालिका अधिकारी माधुरी शर्मा ने बताया कि प्लांट निर्माण कार्य के लिए कॉन्ट्रैक्टर को जमीन की उपलब्धता सहित सभी बाधारहित माहौल उपलब्ध कराया गया है। इसके बावजूद भी कांट्रेक्टर द्वारा प्रोजेक्ट कार्य पूर्ण करने में लापरवाही बरती जा रही है, जिसके लिए कांट्रेक्टर के विरुद्ध आवश्यक वैधानिक कार्यवाही प्रस्तावित की जा रही है।

 

 

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