होशंगाबाद। आपातकाल के विरुद्ध लड़ी लड़ाई, आजादी की दूसरी लड़ाई थी। आपातकाल के खिलाफ लडऩे वाले मीसा बंदी उस लड़ाई के नायक थे। देश में आज लोकतंत्र मीसा बंदियों की वजह से जिंदा है।
आपातकाल के दौरान अगर मीसा बंदी तत्कालीन शासन से लड़ाई न लड़ते तो शायद आज देश में लोकतंत्र भी नहीं होता। इसी तारतम्य में आज होशंगाबाद जिले के मीसा बंदी, वरिष्ठ नेता, पूर्व मंत्री मधुकर राव हर्णे (Former Minister Madhukar Rao Harne) के निवास पर पहुंचकर उनका शाल श्रीफल से सम्मान किया। इस अवसर पर भाजपा जिला उपाध्यक्ष प्रसन्ना हर्णे, देवदत्त तिवारी, पूर्व पार्षद सेठी चौकसे, निज सहायक दुर्गेश यादव उपस्थित थे।