नहरों में पानी कम करने का विरोध, मंगलवार को अधिकारियों का घेराव

नहरों में पानी कम करने का विरोध, मंगलवार को अधिकारियों का घेराव

इटारसी। मुख्य नहर (Main Canal) से अपनी मूंग की फसल के लिए पानी ले रहे किसान को उच्च अधिकारियों के मौखिक आदेश से स्थानीय अधिकारी रोक रहे हैं। पिछले दो दिन से किसानों द्वारा सायफन (Siphon), विद्युत मोटर (Electric Motor), डीजल पंप (Diesel Pump) से की जा रही सिंचाई को बंद करा रहे और साइड कैनाल (Side Canal) का लेबल (Label) कम करके पानी हरदा (Harda) भेजने की व्यवस्था की जा रही है। जबकि नर्मदापुरम के किसानों को पानी की महती आवश्यकता है, हरदा को पर्याप्त पानी दिया जा चुका है, नर्मदापुरम (Narmadapuram) के किसानों को पानी लेने से रोकने का विरोध किसान करने का मन बना रहे हैं। मंगलवार से किसान बड़ी संख्या में अधिकारियों का तीखा विरोध करेंगे। आज क्रांतिकारी किसान मजदूर संगठन (Krantikari Kisan Mazdoor Sangathan) के राष्ट्रीय अध्यक्ष लीलाधर सिंह राजपूत, जिलाध्यक्ष हरपाल सिंह सोलंकी, यूथ विंग जिलाध्यक्ष अरुण पटेल, जिला उपाध्यक्ष देवेंद्र पटेल, नर्मदापुरम ब्लॉक अध्यक्ष मोनू चौहान, डोलरिया तहसील अध्यक्ष मोनिस राजपूत, डोलरिया तहसील महामंत्री देवेंद्र पटेल, नोहर ग्राम इकाई अध्यक्ष रामकिशोर मेहरा, बलराम व्यास, कमल किशोर यादव, मंगल यादव प्रवीण चौधरी एवं किसान नहरों पर पहुंचे थे।

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जिला पंचायत (Zilla Panchayat)सदस्य एवं किसान विजय बाबू चौधरी ने कहा कि हरदा को पानी देना प्रारंभ किये हुए लगभग 53 दिन हो चुके हैं, वहां चार पानी लगभग सभी किसान दे चुके हैं, जबकि नर्मदापुरम जिले के किसानों को पानी मिलते हुए अभी महज 40 दिन ही हुए हैं। ऐसे में हमें पानी की महती आवश्यकता है, तो हमें रोका जा रहा है।

किसानों से सौतेला व्यवहार

क्रांतिकारी किसान मजदूर संगठन के पदाधिकारी आज नहरों पर पहुंचे और कहा कि किसानों के साथ सौतेला व्यवहार कर हरदा जिले को पानी पहुंचाया जा रहा है। नर्मदापुरम जिले की सभी माइनर (Minor) नाममात्र गेज के साथ चलाई जा रही हैं जिससे जिले के किसानों की मूंग फसल में सिंचाई नहीं हो पा रही है। नहर से सायफन, विद्युत पंप, डीजल पंप नहर विभाग द्वारा बंद कराए जा रहे हैं।

20 मई पानी देने की घोषणा

नहर विभाग द्वारा घोषणा की जा चुकी है कि 20 मई तक ही सिंचाई के लिए पानी मिलेगा। हरदा जिले के लिए 23 मार्च को पानी छोड़ा गया था जिसे आज 54 दिन हो चुके हैं, जबकि नर्मदापुरम जिले को 5 अप्रैल को सिंचाई के लिए पानी मिला जिसे आज मात्र 40 दिन ही हुए। यहां मूंग को पानी की अत्यंत आवश्यकता होने के बावजूद पानी उपलब्ध नहीं हो पा रहा है।

उत्पादन गिरेगा, होगा नुकसान

समय पर पानी नहीं मिलने से मूंग की फसल का उत्पादन गिरेगा और किसानों को करोड़ों का नुकसान होगा। क्रांतिकारी किसान मजदूर संगठन ने मांग की है कि नर्मदापुरम जिले की सभी उपनहरों में आज से ही 30 मई तक पर्याप्त मात्रा में पानी चलाया जाए जिससे किसानों की मूंग फसल को बचाया जा सके, 17 मई, मंगलवार प्रात: 11 बजे विभाग के एसई कार्यालय (SE Office) का घेराव करेंगे।

 

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AUTHORRohit

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