इटारसी। अधिक फीस को कम करने, निजी प्रकाशकों की पुस्तकें नहीं चलाने सहित अन्य अनेक मांगों को लेकर आज भारतीय राष्ट्रीय छात्र संगठन ने सेंट जोसेफ कॉन्वेंट स्कूल के गेट पर प्रदर्शन कर नारेबाजी की।
छात्र नेताओं से मिलने जब स्कूल की प्राचार्य आयीं और ज्ञापन लिया तो संगठन
नेताओं ने लिखित आश्वासन की मांग की। जब स्कूल के एक शिक्षक ने लिखित आश्वासन एक कागज पर लाकर दिया तो हिमांशु अग्रवाल ने कहा कि यह प्राचार्य मैडम के हस्ताक्षर नहीं हैं, क्योंकि उनके हस्ताक्षर की कापी हमारे पास है। इतना सुनते ही कांग्रेस नेता सम्राट तिवारी ने कहा कि सर, हम सरकारी स्कूल में पढ़े हैं, कॉन्वेंट में नहीं। प्रबंधन को कहिए कि हमें बेवकूफ न बनाया जाए। इसके बाद शिक्षक ने दोबारा जाकर लेटर हेड पर दोबारा आश्वासन लिखाकर ला दिया। प्रबंधन ने दस दिन में मांगों पर जवाब देने का आश्वासन दिया है।
एनएसयूआई के लगभग एक सैंकड़ा सदस्य कांग्रेस नेताओं के साथ स्कूल के गेट पर पहुंचे और अपने आंदोलन के तहत नारेबाजी की। छात्र संगठन की मांग है कि निजी स्कूलों द्वारा ली जाने वाली अधिक फीस को कम किया जाए साथ ही निजी प्रकाशकों की किताबों के स्थान पर एनसीईआरटी और मप्र पाठ्य पुस्तक निगम की किताबें चलाई जाएं। एक ही दुकान से पुस्तक और यूनिफार्म खरीदने की बाध्यता खत्म करें तथा स्कूलों में पालक-शिक्षक संघ का गठन, नियमित बैठक, शिक्षा का अधिकार अधिनियम को लागू किया जाए।
छात्र नेताओं ने कहा कि वे मानते हैं कि कॉन्वेंट में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा दी जाती है और इसके लिए प्रबंधन और स्टाफ का वे सम्मान करते हैं, लेकिन फीस अधिक होने के साथ कई विसंगतियां भी हैं जिन्हें दूर किया जाना चाहिए। आंदोलन में एनएसयूआई के नगर अध्यक्ष हिमांशु बाबू अग्रवाल, सौम्य दुबे, पूर्व विधायक अंबिका प्रसाद शुक्ल, वरिष्ठ नेता मोहन झलिया, नगर कांग्रेस अध्यक्ष पंकज राठौर, पूर्व नपाध्यक्ष श्रीमती नीलम गांधी, सम्राट तिवारी, पवन बोहरा सहित अनेक छात्र नेता और कांग्रेसी मौजूद थे।