सीज़न के पहले घने कोहरे में डूबा शहर

Post by: Manju Thakur

ठंड में ठिठुरते स्कूल पहुंचे बच्चे, बाज़ार पर असर
इटारसी। इस वर्ष सर्दी के सीज़न में पहली बार घना आज सुबह लोगों को देखने को मिला। खास बात यह रही कि सुबह साढ़े पांच बजे के बाद से कोहरा प्रारंभ हुआ और दिन उगते बढ़ता गया। सुबह घने कोहरे के बीच बच्चे ठिठुरते हुए स्कूल पहुंचे। सुबह 10 बजे तक कोहरा फैले होने से सड़कों पर वाहन चालन में काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। सूर्योदय से पूर्व हर तरफ कोहरा ही कोहरा नजर आ रहा था। कोहरा ऐसा था कि सूर्योदय के वक्त सूर्य भी चांद की तरह नज़र आ रहा था। आसमान में कोहरा होने के कारण सुबह से 11 बजे तक भगवान भास्कर लुका-छिपी का खेल खेलते रहे। इससे धूप की आशा रखने वालों को निराशा ही हाथ लगी।
विगत दो दिनों से अचानक मौसम का मिजाज बदलने से ठंड से बचने के लिए लोग रजाई, कंबल में देर तक दुबके रहे और जब निकले तो ऊनी परिधान में नज़र आए। नगर के रेस्ट हाउस के साइड से लगी ऊनी कपड़ों की दुकानों पर भी बड़ी संख्या में लोग खरीदारी करते रहे। ठंड के दस्तक देने के बाद पालिका प्रशासन की ओर से अलाव की व्यवस्था की गई है।
बच्चे पहुंचे कंपकंपाते स्कूल
आज सुबह छाए घने कोहरे के कारण स्कूली बच्चे ठिठुरते हुए अपने-अपने विद्यालय पहुंचे। बच्चे बकायदा स्वेटर, जैकेट, टोपी, मफलर, दस्ताना आदि पहने स्कूल पहुंचे। बावजूद इसके वह ठंड से ठिठुरते नजर आए। सुबह कोहरे का प्रकोप ऐसा दिखा कि सड़कों पर छोटे-बड़े वाहन रेंगते नजर आए, वहीं अधिकांश वाहन सुरक्षा के लिहाज से अपनी लाइट जला कर ही आगे बढ़ रहे थे। कोहरे की चपेट में आने के बाद जहां नगरीय इलाकों में लोगों की दिनचर्या प्रभावित रही, वहीं ग्रामीण अंचलों मंए लोग जगह-जगह अलाव तापते रहे।
जल्द बंद हो रहे हैं बाज़ार
विगत दो दिनों से कोहरे व ठंड से दुकानदारों की दुकानदारी प्रभावित हो रही है, सुबह बाजार भी देर से खुल रहे तो शाम को दुकानें जल्दी बंद हो रही हैं। ठंड का असर शहर के बाजारों में दिखा। दुकानें तो खुली लेकिन ग्राहक नहीं के बराबर रही। शहर के किसी भी बाजार में रौनक नहीं दिखी। वैसे धूप निकलने के बाद कुछ चहल-पहल बढ़ी। हलांकि, शाम होते ही ठंडक बढ़ गई तो लोग जल्द ही अपने-अपने घर को निकल गए। ऐसे में शाम साढ़े सात बजते-बजते बाजार खाली पड़ गए। दुकानदार भी जल्द ही दुकान समेट कर घर चले गए।

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