लापरवाही : सांड के हमले में एक बुजुर्ग की दुखद मौत

लापरवाही : सांड के हमले में एक बुजुर्ग की दुखद मौत

आवारा मवेशी पकडऩे वाली गैंग को पैसा नहीं दे रही नगर पालिका
इटारसी। नगर पालिका प्रशासन की लापरवाही के कारण आवारा मवेशी ने एक बुजुर्ग की जान ले ली है। जैसे ही सोशल मीडिया पर इस घटना की खबर पोस्ट हुई, आनन-फानन में नगर पालिका ने एक टीम बनाकर आवारा मवेशियों को पकडऩे के लिए भेज दिया। टीम ने एक काले सांड को पकड़ा भी है। नगर पालिका के राजस्व विभाग की लापरवाह कार्यप्रणाली के कारण विगत एक वर्ष से आवारा मवेशी पकडऩे वाले ठेकेदार को भुगतान नहीं होने से उसने काम बंद कर रखा है। एक मौत होने के बावजूद राजस्व विभाग इतना लापरवाह बना हुआ है कि आडिट शाखा में आपत्ति का निराकरण कराने में रुचि नहीं ले रहा है।
स्थानीय प्रशासन के उदासीनतापूर्ण रवैये के कारण सड़कों पर मौत बन कर भटक रहे आवारा जानवरों की समस्या लगातार गंभीर होती जा रही है। शनिवार को न्यास कालोनी निवासी एक फल विक्रेता भजनलाल माधवानी पिता राधोमल माधवानी, 68 वर्ष पर एक काले सांड ने हमला कर दिया जिससे उसकी मौत हो गयी। ये आवारा मवेशी सड़कों, बाजारों और गली-मोहल्लों में आवारा घूमते हुए विभिन्न दुर्घटनाओं और जान-माल की हानि का कारण बन रहे हैं, जिसका ताजा उदाहरण है शनिवार की घटना जिसमें एक बुजुर्ग की मौत हो गयी।

सिंधी समाज में नाराजी
सिंधी समाज के सदस्य की इस तरह से दुखद मौत से समाज में नगर प्रशासन के प्रति नाराजी है। पूज्य पंचायत सिंधी समाज ने शनिवार को दोपहर मुख्य नगर पालिका अधिकारी सीपी राय को एक ज्ञापन देकर आवारा मवेशियों को शहर से बाहर करने की मांग की है। सीएमओ ने बताया कि आज नगर पालिका की एक टीम गठित कर दी है, जो आवारा मवेशियों को पकड़ रही है। बता दें कि विगत लंबे समय से आवारा मवेशियों के आतंक से आमजनों का चलना दूभर हो गया है। खासकर महिलाओं, बुजुर्गों का सड़क पर निकलना खतरे से खाली नहीं रहा है।

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पहले भी हुई हैं ऐसी घटनाएं
यह कोई पहला मौका नहीं है, जब आवारा मवेशी के हमले में किसी की मौत हुई हो, इससे पहले भी इटारसी में ऐसी आधा दर्जन हादसे हुए हैं जिसमें बुजुर्ग घायल हुए और बाद में उनकी मौत हुई है। सब्जी मंडी और भारत टाकीज रोड के अलावा रेलवे स्टेशन के पास पूर्व में भी ऐसे हादसे हुए हैं। लेकिन, जब भी इस तरह के हादसे होते हैं, नगर पालिका प्रशासन हरकत में आता है और एक दो दिन आवारा मवेशियों की पकड़-धकड़ करने की औपचारिकता निभायी जाती है। कुछ दिन दिखावा करने के बाद नगर पालिका का अमला शांत बैठ जाता है।

साहब आपको नोटिस भेजूंगा
हॉकी खिलाड़ी और सिंधी समाज के सदस्य कन्हैया गुरयानी ने सीएमओ सीपी राय को कहा कि सीएमओ के अलावा जिन भी अधिकारी की जिम्मेदारी तय है, मैं उनको नोटिस भेजूंगा। उन्होंने कहा कि एक व्यक्ति की मौत हुई है, यह गंभीर मामला है। उन्होंने सीएमओ से कहा कि साहब आप लोक एसी में बैठकर काम न करें, थोड़ा बाजार में भी निकले, शहर में घूमें और देखें कि क्या चल रहा है। सरकार ने आप लोगों को यहां एसी में बैठकर काम करने के लिए नहीं भेजा है। श्री गुरयानी ने कहा कि जिम्मेदार अधिकारियों को मैं जल्द ही लीगल नोटिस भेजने वाला हूं।

ये मजबूरी बतायी सीएमओ ने
सिंधी समाज के प्रतिनिधियों से बातचीत के दौरान सीएमओ सीपी राय ने बताया कि आवारा मवेशियों की पहचान मुश्किल काम है। पशु पालन विभाग मवेशियों की टैगिंग करता है, यह काम हमारा नहीं है। इसके अलावा यदि हम पकड़ें तो उनको रखने के लिए जगह नहीं है। गौशाला में रखें तो खिलाएं क्या? और यदि कांजी हाउस में रखें तो सात दिन ही रख सकते हैं। यदि मवेशी दुधारू नहीं है तो कोई भी पशु मालिक उनको छुड़ाने नहीं आता है। इसके बाद उसे नीलाम करना हमारी मजबूरी होती है। नीलामी के दौरान कोई भी खरीदार सामने नहीं आता है।

इनका कहना है…!
आवारा मवेशियों को पकडऩे वाली गैंग का भुगतान कुछ तकनीकि कारणों से नहीं हुआ है, हम आडिट शाखा से बात करके भुगतान कराने के बाद गैंग को फिर से इस काम में लगाएंगे। जल्द ही कुत्ते, सुअर और अन्य पशुओं को पकडऩे के लिए अभियान चलाया जाएगा। जहां तक आज मृत व्यक्ति की मदद की बात है तो वे किसी योजना में पंजीकृत थे, तो उनको जल्द ही मदद उपलब्ध करायी जाएगी।
सीपी राय, सीएमओ

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