जीवन की आपाधापी में खुशियों के कुछ पल मिलते हैं

Post by: Rohit Nage

Some moments of happiness are found in the hustle and bustle of life.
  • आर्डनेंस फैक्ट्री परिसर में हास्य कवि सम्मेलन का आयोजन

इटारसी। यहां 14 किलोमीटर दूर आयुध निर्माणी के टाइप 3 दुर्गा मंदिर परिसर में हास्य कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया जिसके मुख्य अतिथि मुख्य महाप्रबंधक आलोक अग्रवाल एवं श्रीमती अनुराधा अग्रवाल महिला कल्याण समिति आयुध निर्माणी ने अध्यक्षता की। विशेष अतिथि के रूप में संयुक्त महाप्रबंधक आशीष शर्मा, उप महाप्रबंधक गिरीश पाल मौजूद थे। सभी अतिथि 1 बजे रात तक कार्यक्रम में उपस्थित रहे।

टाईप 3 दुर्गा उत्सव आयोजन को सफल बनाने में सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया और कनिष्ठ कार्य प्रबंधक अजय मालवीय एवं अतुल भादोरिया, सीडी सिंह, कमलेश कुमार सिंह एवं समस्त टाईप 3 समिति का सहयोग रहा। इंदौर से आयी स्वाति पंखुड़ी ने अपनी रचना सुनाई कि सारी की सारी चेतना तेरे समक्ष है, इंदौर के ही जसवेंद्र बुंदेला ने कविता पाठ करते हुए कहा कि जितनी है मेरी वेदना तेरे समक्ष है, अनुभव मेरे अभिव्यक्ति को ढाले हैं, हर कदम इसे देखना ना देखना तेरे समक्ष है।

बरेली से आए वीर रस के कवि गौरी शंकर धाकड़ ने कहा कि सिपाही वीर भारत के हथेली जान रखते हैं, कटा के शीश सरहद पे वतन का मान रखते हैं। तिरंगा हाथ में सर पे कफन संगीन कांधे पर, बसा दिल में सदा तस्वीर हिंदुस्तान रखते हैं। देश के जाने-माने हास्य व्यंग कवि पवन प्रबल ने संचालन करते हुए कहा कि हम हथियारों में ढलते हैं। हम बारूदों पर चलते है, हम शस्त्रों के संवाहक है, युद्धों की दिशा बदलते हैं, परछाई से रहते हर पल, हर सैनिक से युद्धयामी है… हां हम आयुध निर्माणी है।

कवि कैलाश सोनी सार्थक ने कहा कि सोच में तहजीब का तुम इत्र डाला भी करो, मस्तियों को आदतों में नित्य ढाला भी करो। और भी गम हैं जहां में दिल जलाने के लिए। अंतर्राष्ट्रीय हास्य व्यंग कवि राजेंद्र मालवीय आलसी ने कहा कि मुस्कराने के कभी दो पल निकाला भी करो, जीवन की आपाधापी में खुशियों के कुछ पल मिलते हैं। उनको उसी पल जी लेना यह मत कहना कल मिलते हैं। देर रात्रि तक चले कार्यक्रम में बड़ी संख्या में आयुध निर्माणी एवं इटारसी के नागरिक और महिलाएं मौजूद थे।

error: Content is protected !!