- पंकज पटेरिया
आज ज्ञान विज्ञान ने विकास के नए क्षितिज खोज लिए। अंतरिक्ष के अनेक अबूझे रहस्य देश विदेश के वैज्ञानिक उद्घाटित करते आ रहे हैं। लेकिन हमारे आदिकालीन ऋषियों मुनि द्वारा ईश्वर शक्ति प्रेरणा से उदघोषित मंत्रों, श्लोक स्त्रोत की अपरिमित शक्ति से ही आधुनिक वैज्ञानिक आविष्कार और उपलब्धियां हासिल हुई हैं। नाम जप मंत्र स्त्रोत, के पाठ आदि का बड़ा फलदायी महत्व है। विपदा के समय करने के और विपत्तियों से मुक्ति के प्रत्यक्ष अनुभव मिलते हैं।
ऐसा ही एक उदाहरण मंदसौर जिले के भावगढ़ थाने के एक गांव का हाल में मिला। बताते हैं, यह गांव किसी अज्ञात बाधा से बरसों से ग्रस्त था। किसान मजदूर संपन्न व्यक्ति सभी दुखी थे। कभी खड़ी फसल में आग लग जाती। कभी सूखा, लोगों को तरह तरह में गुनिया ओझा आते और ठगते रहते। परेशानी जहां की तहां थी। चिंता में घुलते लोग बीमार अलग होते रहते। तभी एक पुलिस दरोगा जो सात्विक और कर्म कांडी थे, किसी जांच के सिलसिले में यहां आए। उन्हें जब यह बात बताई तो तत्काल उन्होंने गांववासियों से कहा आपके गांव की जो भी बाधा परेशानी होगी खत्म हो जाएगी। आप सभी प्रतिदिन अथवा मंगलवार के दिन सुंदर कांड का पाठ किया करें। पांच मंगलवार हम आप सब मिलकर पीपल के नीचे बिराजे हनुमान जी की पूजा कर प्रसाद चढ़ाएंगे, कन्या भोज देंगे। दरोगा जी चले गए।
गांव के बुजुर्ग की सलाह पर गांव वालों ने नित्य ही सुंदर कांड का पाठ करना शुरू कर दिया। भगवान श्री हनुमान जी महाराज की कृपा से गांव की परेशानी खत्म होती गई। एक दिन सारी आपदा विपदा छू मंतर हो गई। दरोगा जी को खबर लगी तो तो वे खुशी खुशी आए आपसी सहयोग से हनुमान जी की पूजा अर्चना की गईं, भंडारा हआ। आज गांव के सभी लोग प्रसन्न हैं। किसी को तकलीफ नहीं है। बल्कि फसल भी बहुत अच्छी हुई है।
जय श्री राम।

पंकज पटेरिया, पत्रकार, कवि
संपादक शब्द ध्वज।