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सोशल मीडिया (social Media) पर, प्रशासन के निर्णय पर उठ रहे सवाल

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इटारसी। शहर में लगातार बढ़ रही कोरोना पॉजिटिव (Corona Positive) की संख्या और प्रशासन द्वारा बनाए जा रहे कंटेन्मेंटजोन (containment zone) पर अब सवाल उठने लगे हैं। दरअसल, प्रशासन की जो कंटेन्मेंट जोन बनाने की नीति है, वह समझ से परे हो रही है। शनिवार को हुई शांति समिति (Shaanti Samiti) की बैठक में भी यही सवाल उठा था तो एसडीएम सतीश राय (SDM Itarsi Satish Rai) ने सबको कोरेन्टाइन (Quarantine) में भेजने की बात कहकर चुप करा दिया था। लेकिन सोशल मीडिया (social Media) पर लोग सवाल कर रहे हैं कि आखिर प्रशासन करना क्या चाहता है?

निवृतमान पार्षद यज्ञदत्त गौर (Yagyadatt Gour) ने कंटेन्मेंट क्षेत्र निर्धारण में दोहरा मापदंड अपनाने का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि लाइन एरिया में अजीबो-गरीब तरीके से क्षेत्र को कंटेन्मेंट एरिया (containment zone) बना दिया। अब तक सूरजगंज (surajganj), पुरानी इटारसी (old Itarsi) और 11 वीं लाइन में मात्र कुछ घरों अथवा गली मात्र को कंटेन्मेंट क्षेत्र (containment zone) बना कर लॉकडाउन (Lockdown) किया वहीं कल पहली से लेकर नवमी लाइन तक का क्षेत्र बैरिकेडिंग (Barricadeing) कर बंद कर दिया। कहीं संक्रमित परिवार के घर से 20-25 फुट दूर ही कंटेन्मेंट क्षेत्र समाप्त हो जा रहा है तो कहीं सैंकड़ों फ़ीट दूर भी बेरिकेडिंग (Barricadeing) कर दी। पहली लाइन, दूसरी लाइन और नवमी लाइन बंद करने का तो कोई तर्क दूर-दूर तक समझ नहीं आता। इस कारण दूसरी लाइन स्थित जैन मंदिर का प्रवेश द्वार अकारण बाधित हो गया। सराफा व्यवसायी स्वैच्छा से गुरुवार तक अपना व्यवसाय बंद रख रहे किन्तु लोहा बाजार और हार्डवेयर व्यवसायी प्रतिष्ठान अकारण बंद हो गए। उन्होंने कहा कि जब प्रशासन ने फैसला ही कर लिया है कि बाजार खुला रहेगा तो प्रशासन इस अव्यवहारिक बेरिकेडिंग (Barricadeing) पर भी जल्द निर्णय ले जिससे असंतोष की स्थिति ना बने।

पिछड़ा वर्ग कांग्रेस के प्रवक्ता शैलेन्द्र पाली ने भी कहा है कि कुछ भी निर्णय हो रहे हैं। कहीं जबरन का कंटेन्मेंट (containment) तो कहीं कंटेन्मेंट (containment) की कोई कार्यवाही नहीं। गांधी मैदान (Gandhi Stadium) की दुकानें बंद कर दी जाती है तो पटवा लाइन (Patwa Line)पूरी तरह खुली है। ये क्या चल क्या रहा है शहर में।

इधर मसीह समाज से डेनिस जोनाथन (Denis Jonathan) ने भी कहा कि जमानी (Jamani) में भी कोरोना को लेकर दोहरी पॉलिसी देखने में आ रही है। गांव में अब तक केवल एक कोरोना पॉजिटिव (Corona Positive) है, परंतु आसपास के लगभग 60 लोगों को क्वॉरेंटाइन सेंटर (Quarantine) में भेजा जा रहा है जबकि लगभग सभी इन परिवारों में उनके जानवर, खेती किसानी का सामान अनाज आदि की सुरक्षा का भी सवाल है। प्रशासन कोरोना पॉजिटिव व्यक्ति के परिवार के अन्य लोगों के सैंपल तो नहीं ले रहा है, परंतु आसपास के लगभग 60 से 70 लोगों को किसी अन्य स्थान पर क्वॉरेंटाइन (Quarantine) किए जाने का दबाव बना रहा है, जिससे कि ग्राम के लोगों में असंतोष है। उन्होंने कहा कि प्रशासन को अपनी पॉलिसी पर पुनर्विचार करना चाहिए।

इनका कहना है…!
लाइन क्षेत्र की गलियों में जहां हम कंटेनमेंट (containment) नहीं कर पा रहे थे, कुछ व्यवहारिक परेशानियां आ रही थी। इसके कारण संपूर्ण क्षेत्र को कंटेनमेंट बनाया है। जहां तक पटवा लाइन (Patwa Line) की बात है, तो उसे बंद किया गया है। यदि बंद नहीं हुई है, तो हम कल ही उसे बंद करेंगे। जमानी (Jamani) में स्थिति को देखकर कोरेंटिन सेंटर में भेजा जाएगा। मवेशियों के लिए घर के कुछ सदस्य छोड़े जाएंगे, सभी को नहीं भेजा जाएगा।
सतीश राय, एसडीएम इटारसी (SDM Itarsi Satish Rai)

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