इटारसी। रबी सीजन की प्रमुख फसल गेहूं की अधिकतम उपज लेने किसान पूरे प्रयास कर रहा है। मौसम के उतार-चढ़ाव के बीच किसान खेतों में दिनरात मेहनत कर रहा है। कभी गर्मी और कभी ठंडक भरे मौसम में किसान अपना काम निबटा रहा है। इन दिनों फसल में तीसरा पानी देने के साथ ही यूरिया डालने और कीटनाशक का छिड़काव भी किया जा रहा है।
अभी तक शाम से सुबह तक ठंड का मौसम बरकरार रहने से भी रबी सीजन की फसलों से अच्छी पैदावार होने की उम्मीद भी बंधी है।
शहर के आसपास के क्षेत्र में ग्रामीण अंचलों में इन दिनों किसान रबी सीजन की फसलों की खासी देखभाल कर रहा है। जिससे इस बार भी गेहूं एवं चना की फसलों में अच्छी उपज के साथ उत्पादन मिल सके। इसके लिए जहां एक और गेहूं एवं चना की फसल में तीसरे पानी के रूप में सिंचाई की व्यवस्था किसान कर रहे हैं, वहीं दूसरी ओर यूरिया खाद एवं खरपतवार और कीटपतंगों से बचाने टॉनिक एवं कीटनाशकों का भी छिड़काव किया जा रहा है। अच्छी फसल होने के बावजूद गेहूं एवं चना के दाने पकने के समय तक कुछ ना कुछ रोग पौधों में लग जाने की वजह से अच्छा खासा उत्पादन प्रभावित हो जाता है और किसानों को अच्छी पैदावार नहीं मिल पाती है। फिलहाल रबी सीजन की दोनों ही पारंपरिक फसलों में अच्छे उत्पादन होने की उम्मीद किसानों को है, जिसके लिए उनके द्वारा खेतों में हरसंभव प्रयास किया जा रहे हैं।
नर्मदापुरम जिले में गेहूं के उत्पादन में पिछले कुछ सालों में पंजाब को भी पटकनी दे दी है, क्योंकि देखने में आ रहा है कि साल दर साल गेहूं के उत्पादन के मामले में मध्यप्रदेश राज्य का नर्मदापुरम जिला गेहूं की उपज के आंकड़ों में प्रतिवर्ष वृद्धि करता जा रहा है और किसानों के द्वारा अत्याधुनिक तकनीक का उपयोग भी रवि सीजन की फसलों में किया जाने की वजह से गेहूं की उपज के उत्पादन के मामले में अच्छे परिणाम आ रहे हैं।