अभी 24 जनवरी तक ऐसा ही ठंडा मौसम रहने के आसार

Post by: Rohit Nage

इटारसी। दो दिनों से चल रही शीतलहर (Cold wave) लोगों को परेशान कर रही है। मौसम पूर्वानुमान के तहत यह प्रभाव राज्य के निचले क्षोभमंडल में 19 जनवरी से बर्फीली ठंडी पछुवा एवं उत्तर-पछुवा हवा का प्रवाह होने का है और इसके साथ ही समुद्र तल से 12.6 किमी ऊपर 140-160 नॉट क्रम की जेट स्ट्रीम हवाएं (jet stream winds) उत्तर भारत (North India) के मैदानी इलाकों पर कायम है। इसके प्रभाव से 19 से 24 जनवरी तक ठंडे दिन रहने की स्थिति बने रहने की संभावना है।

राज्य में न्यूनतम तापमान 2 डिग्री सेल्सियस-3 डिग्री सेल्सियस तक क्रमिक गिरावट के साथ 10 डिग्री सेल्सियस से कम रहने की संभावना है। अधिकतम तापमान में कोई विशेष परिवर्तन की संभावना नहीं है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (India Meteorological Department) द्वारा जारी की गई एहतियाती सलाह के अनुसार अधिकांश जगहों पर 14 डिग्री से 16 डिग्री के बीच दर्ज किया जा रहा है। इसके साथ ही अगले 5 दिनों के दौरान राज्य के कुछ जगहों पर घने कोहरे का भी पूर्वानुमान है। मौसम के प्रभाव तथा सुझाव के अनुसार शीत के कारण अपेक्षित प्रभाव फ्लू, बहती/बंद नाक या नाक से खून आना जैसी विभिन्न बीमारियों की संभावना बढ़ जाती है, जो आमतौर पर शुरू होती हैं या लंबे समय तक ठंड के संपर्क में रहने के कारण बढ़ जाता है।

ठंड से बचने के सुझाव

लंबे समय तक ठंड के संपर्क में रहने से बचें। आम जन खासकर बच्चे एवं बुजुर्गों को ठंड से बचने की सलाह दी जाती है। गर्म कपडे धारण करें तथा गर्म पेय पदार्थ का सेवन करें। कंपकंपी को नजरअंदाज न करें। यह पहला संकेत है कि शरीर से गर्मी कम हो रही है। घर के अन्दर ही रहें। लंबे समय तक ठंड के संपर्क में रहने के कारण शीतदंश हो सकता है। त्वचा पीली, कठोर और सुन्न हो जाती है, अंतत: शरीर के खुले हिस्सों जैसे उंगलियों, पैर की उंगलियों, नाक और कान के निचले हिस्से पर काले छाले दिखाई देने लगते हैं। गंभीर शीतदंश के लिए तत्काल चिकित्सा ध्यान और उपचार की आवश्यकता होती है, अत: चिकित्सक से शीघ्र संपर्क करें। कुछ स्थानों पर कृषि, फसल, पशुधन, जल आपूर्ति, परिवहन और बिजली क्षेत्र पर प्रभाव पड़ सकता है। कृषि विभाग तथा राज्य आपदा प्राधिकरण के सुझावों का पालन करें।

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