घोषणा पत्र में शामिल करने मांगे जनता से सुझाव

Post by: Manju Thakur

इटारसी। भारतीय जनता पार्टी की चुनाव घोषणा समिति के सदस्य एवं राजस्व मंत्री उमाशंकर गुप्ता ने आज ईश्वर रेस्टारेंट में संभागीय बैठक की। उन्होंने होशंगाबाद-हरदा जिले से विभिन्न वर्गों में सक्रिय लोगों को घोषणा पत्र में शामिल करने के लिए सुझाव मांगे। श्री गुप्ता ने उपस्थित लोगों से कहा कि जो काम अब तक नहीं हुए हैं उन पर सुझाव दिए जाएं।
यहां हुए बैठक में करीब 50 से ज्यादा सुझाव उन्हें लिखित तौर पर मिले। एक पेट्रोल पंप संचालक ने डीजल का रेट कम करने का सुझाव और उसके जरिए कैसे टैक्स ज्यादा कमाया जा सकता है ये फार्मूला दिया। इस अवसर पर मप्र विधानसभा के अध्यक्ष डॉ.सीतासरन शर्मा, भाजपा जिलाध्यक्ष हरिशंकर जैसवाल सहित होशंगाबाद, हरदा और बैतूल जिले से भाजपा कार्यकर्ता और नागरिक भी आए थे।

ये आए सुझाव
पेट्रोल पंप संचालक राजेंद्र अग्रवाल ने सुझाव दिया कि डीजल पर प्रदेश सरकार 22 प्रतिशत टैक्स लेती है, जिससे वह महंगा है। सरकार को टैक्स भी चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रदेश 10 राज्यों की सीमा से जुड़ा है, सभी में रेट कम हैं, ट्रक चालक वहीं से डीजल भरवा लेते हैं। यहां से कोई डीजल नहीं भरवाता। इसलिए सरकार डीजल पर टैक्स कम करती है तो इसका रेट कम होगा और ये ज्यादा बिकेगा। ऐसे में सरकार ज्यादा माल बेचकर, ज्यादा मुनाफा कमाएगी और अपना राजस्व पूरा कमा सकती है।
सामाजिक कार्यकर्ता मनीष ठाकुर ने कहा कि लड़कियों की पैदा होते ही एक सुकन्या यूनिक आईडी बना दी जाए और सरकार की सभी योजनाओं की जानकारी व लाभ इसी एक आईडी से मिले। अभी सभी विभाग में अलग अलग तरह से लाभ लेने जाना पड़ता है, कई बार तो योजनाएं पता भी नहीं चल पाती।
शिक्षक राजकुमार दुबे ने सुझाव दिया कि आठवी तक नि:शुल्क शिक्षा है। इसके बाद बोर्ड शुल्क लेती है, सरकार को चाहिए कि बीपीएल श्रेणी में शुल्क माफ किया जाए।
किसान प्रहलाद पटेल ने सुझाव दिया कि फसल बीमा में 4-4 प्रतिशत केंद्र व राज्य सरकार पैसा मिलती है, 2 प्रतिशत राशि किसान मिलाता है। ये 2 प्रतिशत राशि भी सरकार ही मिलाए, जिससे किसानों को लगेगा कि सारा बीमा सरकार ही कर रही है अभी किसानों को लगता है कि वे पैसा देते हैं तभी सरकार बीमा देती है।
किसान विनोद पटेल ने कहा कि सब्जी का समर्थन मूल्य तय होना चाहिए।
युवा उद्यमी सत्यम अग्रवाल ने सुझाव दिया कि सरकार उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए जमीन की कीमत कम करे। अभी औद्योगिक विभाग एक एकड़ जमीन 46 लाख की देती है, जबकि उसके पास ही यदि प्राइवेट व्यक्ति से जमीन खरीदें तो 20 से 25 लाख रुपए में मिल जाती है। जबकि प्रोत्साहन के लिए जमीन के दाम कम हो।
प्रियंका चौहान ने सुझाव दिया कि लोक सेवा गारंटी केंद्र की तर्ज पर जांच गारंटी केंद्र बनने चाहिए। अभी मयदस्तावेज शिकायत कर देने के बाद भी जांच नहीं होती, अफसर अपनी मर्जी से फाइल दबा लेते हैं, उनकी एकाउंटेविलिटी तय होनी चाहिए।
पत्रकार रोहित नागे ने सुझाव दिया कि बेरोजगार युवाओं को कुछ राहत देने के लिए सरकार उनसे पशु गणना, बीएलओ वर्क व अन्य ऐसे काम जो सरकारी कर्मचारी अपने काम से अतिरिक्त करते हैं कराए और उन्हें कुछ मानदेय भी दे। साथ ही ये भी एग्रीमेंट करा ले कि ये अस्थाई तौर पर दिया जाने वाला कार्य है। इससे कर्मचारी शासकीय कार्य बेहतर तरीके से कर पाएंगे और युवा बेरोजगारों को आंशिक रोजगार भी मिल सकेगा।
Sai Krishna1

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