इटारसी। कोरोना वायरस का संक्रमण नहीं फैले इसके लिए इन दिनों देश में लॉक डाउन है। प्रशासन लोगों को घरों से नहीं निकलने दे रहा है। इस स्थिति में सबसे अधिक परेशानी उन लोगों को हो रही है जो मजदूरी करके अपने परिवार का पालन-पोषण करते हैं। ऐसे लोग अब मुफलिसी में जीवन जीने को मजबूर हैं। कुछ सामाजिक संगठन, स्वयं सेवी संस्थाएं, धार्मिक संस्थाएं अवश्य इनके भोजन का इंतजाम कर रही हैं, जिससे ऐसे लोगों को राहत है।
शहर में गरीब, मजदूरों को भोजन के लिए जहां विधायक डॉ. सीतासरन शर्मा की टीम के सदस्य दिन-रात जुटे हुए हैं तो वहीं त्रिवेदी पैनल, श्री हनुमानधाम मंदिर समिति, श्री पशुपतिनाथ धाम मंदिर समिति, सर्व ब्राह्मण समाज, समरस्ता युवा मंच सहित अनेक संस्थाएं कार्य कर रही हैं। विधायक डॉ सीतासरन शर्मा की प्रेरणा से भाजपा नगर मंत्री अभिषेक तिवारी, भाजपा अनुसूचित जाति मोर्चा नगर अध्यक्ष मनजीत कलोसिया, विक्कू ठाकुर के संयोजन में समरसता युवा मंच इटारसी द्वारा लॉक डाउन में प्रभावित ज़रूरतमंद लोगों को कॉल आने पर 23 मार्च से सहायता दे रहे हैं। सदस्यों ने अपने हेल्पलाइन नंबर दिए हैं।
भोजन पैकेट, कच्चा किराना सामान, दूध, दवा, साबुन, मास्क, आदि लोगों तक पहुंचा कर दिए जा रहे हैं। अब तक दूध करीब 40 पैकेट्स, चार जगह विभिन्न रोगों की दवाएं, पचास परिवारों को किराना सामग्री, सवा सौ मास्क, 70 परिवारों को डिटॉल साबुन, 350 भोजन के पैकेट्स वितरित कर चुके हैं। किराना सामग्री में 5 किलो आटा, 2 किलो चावल, आधा किलो तुअर दाल, आधा किलो शक्कर, 1 पाव चाय पत्ती, 1 डेटोल साबुन, 1 माचिस, 1 किलो तेल, हल्दी, मिर्च, धना के छोटे पैकेट, 1 किलो नमक, 2 बिस्किट पारले दे रहे हैं।
पशुपतिनाथ धाम मंदिर समिति ने आज अध्यक्ष मेहरबान सिंह के नेतृत्व में 500 से अधिक खाने के पैकेटों का वितरण सोनासांवरी नाका, न्यास कालोनी, साईंनाथ बेकरी, पटेल मोहल्ला, नाला मोहल्ला, इंद्रा कालोनी, पीपल मोहल्ला, नदी मोहल्ला, यार्ड क्षेत्र, मेहरागांव, खेड़ा में किया। इसी के साथ ही अनिल जैन, राजेन्द्र अग्रवाल कक्का सहित अन्य सेवादार भी लगातार लोगों को इस लॉक डाउन में भोजन करा रहे हैं।
केसला में भी मजदूरों को खाना खिलाया
नेशनल हाईवे के माध्यम से विभिन्न प्रांतों से अपने घर लौट रहे मजदूरों को केसला के समाजसेवी संगठन, धार्मिक संगठन पुलिस की मदद से भोजन करा रहे हैं। रविवार को भी केसला पुलिस ने पेट्रोलिंग के दौरान एक कंटेनर को रोका तो उसमें 60-70 मजदूर बैठे थे जो राजस्थान जा रहे थे। पुलिस ने उनको यहां उतारा और पानी, साबुन का इंतजाम करके स्नान कराया। इस दौरान राजस्थान ढाबा संचालक देवा, हनुमाधाम सेवा समिति, रामायण मंडल के रीतेश राठौर, करनसिंह नामधारी सहित अन्य लोगों ने इनके लिए भोजन पकाया और प्रेम से भोजन कराया। राजस्थान के धौलपुर जा रहे इन मजदूरों में से एक पोहप सिंह ने बताया कि वे हैद्राबाद से आ रहे हैं और उनको यहां तक पहुंचने में 32 घंटे लगे हैं। रास्ते में कहीं भोजन नहीं किया, यहां आकर भोजन मिला है। सभी को यहां सेनेटाइज किया और भोजन कराने के बाद यह हिदायत देकर रवाना किया कि वे अपने घर भी जाएंगे तो 14 दिन कम से कम सबसे दूर रहेंगे, किसी ने मेल मुलाकात नहीं करेंगे, बार-बार साबुन से हाथ धोयेंगे और स्वास्थ्य में परेशानी आने पर उसकी जांच करायेंगे।
मजदूरों का पलायन जारी
आज रविवार को यहां रेलवे लाइन किनारे कुछ मजदूर दिखाई दिये जो छीपानेर से कटनी के लिये पैदल ही निकले हैं। इनमें अशोक, गोलू, आशीष के साथ करीब दस मजदूर शुक्रवार 28 मार्च 2020 को छीपानेर से निकले और रविवार को सुबह 8 बजे इटारसी पहुंचे। इनका कहना है कि ये भूखे हैं और इनको रास्ते में कहीं खाना नहीं मिला। ये तीन दिन में कटनी पहुंच जाएंगे ऐसी उम्मीद कर रहे हैं।
आरपीएफ ने खिलाया खाना
ग्राम कलमेशरा में झारखण्ड के 23 मजदूरों को काम बंद होने के कारण एवं ट्रेन बंद होने के कारण फंसे हुए हैं। न्यू यार्ड आरपीएफ स्टाफ ने इन मजदूरों को न सिर्फ राशन उपलब्ध कराया बल्कि इनको खाना बनवाकर वितरित भी किया। आरपीएफ स्टाफ ने सभी मजदूरों के हाथों को हैंड सेनेटाइजर से साफ कराया और उनको सोशल डिस्टेंसिंग की सलाह भी दी।