इटारसी। मप्र राज्य कर्मचारी संघ जिला शाखा होशंगाबाद के जिलाध्यक्ष भुनेश्वर दुबे ने शासन एवं जिला प्रशासन से मांग की है कि शासन ने शिक्षकों के लिए ग्रीष्मावकाश घोषित कर दिया है, इस समय शिक्षक रिजल्ट तैयार करने के अलावा, ऑनलाइन शिक्षण, छात्रवृत्ति, मध्यान्ह भोजन खाता अपग्रेडेशन जैसे कार्यों में एक साथ लगे हुए हैं, इसके बावजूद स्कूल शिक्षा विभाग और राज्य शिक्षा केंद्र नित नए आदेश जारी कर शिक्षकों को मानसिक रूप से प्रताडि़त करने का काम कर रहा है।
शिक्षकों को कलेक्टर, अनुविभागीय अधिकारियों के निर्देश पर कोविड 19 के विभिन्न आयामों में भी ड्यूटी करना पड़ रही है, ऐसे में प्रदेश का शिक्षक बदहवासी के आलम से गुजर रहा है। शिक्षकों के अनुसार उन्हें समझ में नहीं आ रहा है कि इतने सारे आदेशों का पालन व एक साथ कैसे करें? समग्र शिक्षक संघ का कहना है कि शिक्षक छुट्टियों में भी ड्यूटी पर है। ग्रीष्मावकाश में कार्य के बदले विभाग द्वारा अर्जित अवकाश की पात्रता घोषित नहीं की जा रही है। प्रदेश भर में संक्रमित स्थानों, कंटेनमेंट एरिया में सर्वे, अनाउंसिंग, भोजन व्यवस्था,मजदूरों को ले जाने, स्क्रीनिंग में शिक्षक पूरी मुस्तैदी से काम कर रहे हैं। इसके बावजूद शासन ने शिक्षकों को कोरोना योद्धा के रूप में शामिल करने के स्पष्ट निर्देश नहीं दिए है। इसके कारण शिक्षकों में असुरक्षा का भाव व्याप्त है। शिक्षकों को कोरोना योद्धा योजना में शामिल कर बीमा सुरक्षा योजना का लाभ देने विभाग की ओर से स्पष्ट निर्देश प्रसारित किया जाना चाहिए, साथ ही विश्राम अवकाश अवधि में ड्यूटी कर रहे शिक्षकों को अर्जित अवकाश की पात्रता घोषित करना चाहिए।
इनका कहना है…!
शिक्षा विभाग में कोविड-19 में लगे समस्त कर्मचारियों एवं शिक्षकों को शासन द्वारा 50 लाख का बीमा कराया जाए एवं अर्जित अवकाश की पात्रता प्रदान की जाए। इसके शीघ्र ही आदेश किए जाने चाहिए।
भुवनेश्वर दुबे, जिलाध्यक्ष मप्र राज्य कर्मचारी संघ