इटारसी। किसानों को उसकी उपज की गुणवत्ता के अनुसार दाम मिलेगा। जिंस की गुणवत्ता परखने कृषि उपज मंडी में लैबोरेटरी की स्थापना करीब 15 लाख रुपए की लागत से की जाएगी। राष्ट्रीय कृषि बाजार के तहत बनने वाली लैब के उपकरण स्थापित करने कृषि उपज मंडी समिति ने दस लाख रुपए के प्रस्ताव को पारित किया है। समिति की बैठक आज दोपहर मंडी सभागार में हुई।
बैठक में सदस्य अध्यक्ष विक्रम तोमर, सदस्य पीयूष शर्मा, सचिव सुनील गौर, पन्नालाल उईके, सतीश मेहतो, सरताज चौधरी, कीर्ति वर्मा, जमुना बरखने, सीताबाई, हम्माल प्रतिनिधि नर्बदा प्रसाद यादव, जनपद होशंगाबाद की अध्यक्ष संगीता सोलंकी, अध्यक्ष प्रतिनिधि देवेन्द्र पटेल उपस्थित थे।
बड़ी लैब स्थापित होगी
वर्तमान में राष्ट्रीय कृषि बाजार के अंतर्गत मंडी में छोटी लैब है। अब यहां बड़ी लैब स्थापित करने समिति ने मंडी बोर्ड से राशि की मांग का एक प्रस्ताव पारित किया है। इसमें करीब 32 प्रकार की मशीनें, केमिकल आदि क्रय किए जाएंगे। यह लैब कृषि उपज मंडी के पुराने दफ्तर में स्थापित करने की योजना है। मंडी बोर्ड से कलर सालिड प्लांट के लिए दो करोड़ रुपए मिलने की उम्मीद है। भविष्य में उसमें भी लैब की जरूरत होगी तो मंडी में पहले से ही स्थापित लैब को उससे अटैच किया जाएगा और उस योजना के तहत जो राशि बचेगी उसका अन्य कामों में उपयोग किया जा सकता है। मंडी समिति को राष्ट्रीय कृषि बाजार अंतर्गत जल्द ही 14 लाख रुपए की राशि मिलने की उम्मीद है।
सूअरों से मुक्ति की योजना
कृषि मंडी परिसर में सूअर एक बड़ी समस्या है। इनसे मुक्ति के लिए समिति ने प्रस्ताव तैयार किया है। कैंटीन के पीछे स्थित झाडिय़ों को साफ कराके वहां सीमेंटीकरण किया जाएगा। इन्हीं झाडिय़ों में सूअरों का डेरा जमा रहता है जो काफी घनी हैं। यहां सूअरों ने बड़े-बड़े गड्ढे बनाकर उसमें अपना डेरा जमा रखा है। यहां सीमेंटीकरण होने से सूअरों का डेरा समाप्त हो जाएगा। इसी तरह से मंडी में पांच कैप के लिए करीब साढ़े तीन करोड़ रुपए का प्रस्ताव भी लिया है। उसे कैप मंडी आवास के पीछे, एक मंदिर के पास तथा दो कैप जहां छह दुकानें बनी हैं, वहां बनाए जाएंगे। इसके साथ ही कृषक संगोष्ठी भवन, सफाई ठेेके की कार्यवाही, निर्माण कार्यों के लिए भी बैठक में स्वीकृति दी गई।