इटारसी। केंद्र सरकार (Central Government) ने अपने बजट में संपत्ति में निवेश करने वालों के लिए कैपिटल गैन टैक्स (Capital Gains Tax) को 20 प्रतिशत से घटकर 12.5 प्रतिशत किया था और झूठी वही वाही लूटने का प्रयास किया था, किंतु कैपिटल गेन टैक्स से इंडेक्स सेशन (Index Session) की शर्त हटा दी थी, जिसे पहले की अपेक्षा अब ज्यादा टैक्स लगने लगा था। इस बात का विरोध मध्य प्रदेश कांग्रेस कमेटी (Madhya Pradesh Congress Committee) के पूर्व सचिव रमेश के साहू एडवोकेट (Ramesh K Sahu Advocate) सहित पूरे देश के संपत्ति निवेशकों, चार्टेड अकाउंटेंट और बुद्धिजीवियों ने किया था।
चौतरफा विरोध के बाद सरकार ने अपने कैपिटल गेन टैक्स के निर्णय को संशोधित करते हुए यह आदेश पारित कर दिया है कि निवेशक 12.5 प्रतिशत डायरेक्ट टैक्स या पूर्ववत 20 प्रतिशत (इंडेक्टेशन के साथ) जिस टैक्स स्लैब में भी जाना चाहे जा सकता है, तथा जो भी कम टैक्स होगा वह टैक्स जमा किया जा सकेगा। जो 23 जुलाई 24 के पूर्व खरीदी संपत्ति पर लागू होगा। केंद्र के इस निर्णय से लाखों संपत्ति निवेशकों को कैपिटल गेन टैक्स में कुछ हद तक लाभ मिल सकेगा।