कृषि उपज मंडी में मूंग खरीद के दौरान विवाद

Post by: Rohit Nage

नये किसानों ने उपज बेचने की कोशिश की तो ली आपत्ति
– विवाद के बाद रोका खरीद कार्य, अधिकारियों ने पुन: प्रारंभ कराया
– कुछ किसानों ने साथियों को आज बुलाकर मंूग बेचने का प्रयास किया
– कृषि मंडी में दस हजार क्विंटल अनाज की हो रही है प्रतिदिन आवक
इटारसी। बुधवार को सुबह कृषि उपज मंडी परिसर में चल रही मूंग खरीद के दौरान कुछ नये किसानों को बीच में नंबर पर लेने से विवाद की स्थिति बनी और करीब आधा घंटे के लिए खरीद बंद करनी पड़ी। एसडीएम और मंडी में भारसाधक अधिकारी सतीश राय और मंडी सचिव उमेश बसेडिय़ा शर्मा ने बातचीत कर खरीद प्रारंभ करायी। सुरक्षा के लिए पुलिस बल भी मंडी में सुरक्षा कर्मियों के साथ लगाया है। एक खास बात यह है कि कोरोना प्रभावित जिले हरदा से भी दर्जनों किसान इटारसी मंडी में मूंग बेचने आ रहे हैं और यहां सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कतई नहीं हो रहा है। ऐसे में यदि कोई पॉजिटिव निकलता है तो चेन की तलाश करना मुश्किल हो जाएगा।
बुधवार को सुबह करीब 11:30 बजे जब कृषि उपज मंडी में मूंग की खरीद चल रही थी, अचानक कुछ नये किसानों का माल बिकने की जानकारी मिलने पर दो दिन से आये किसानों ने विरोध प्रारंभ कर दिया। बताया जाता है कि कुछ किसान ऐसे थे जो दो से तीन दिन ये यहां थे। उन्होंने अपने कुछ साथी किसानों को भी कॉल करके बुला लिया। अब आज ही आये ये किसान पुराने किसानों के साथ में अपनी उपज बेचने लगे। जब इसकी जानकारी कुछ अन्य पुराने आये किसानों को लगी तो उन्होंने विरोध प्रारंभ कर दिया। इस दौरान विवाद की स्थिति बनी तो व्यापारियों ने खरीद कार्य बंद कर दिया। सूचना पर प्रशासन ने पहुंचकर पुन: खरीद प्रारंभ करायी।
इसलिए आ रहे बाहर के किसान
कृषि उपज मंडी इटारसी में हरदा, टिमरनी, खिरकिया, रेहटी, नसरुल्लागंज, सीहोर से भी किसान अपनी मूंग फसल लेकर आ रहे हैं। इसके पीछे इन जगहों की मंडी छोटी होना बताया जा रहा है। इसके अलावा इन शहरों में मंडी प्रबंधन ने पंजीयन व्यवस्था रखी है और कम ट्राली ही मंडी परिसर में प्रवेश दे रहे हैं। अत: वहां के किसान इटारसी कृषि मंडी में अपनी उपज लेकर आ रहे हैं। दरअसल यहां का परिसर 65 एकड़ के विशाल क्षेत्र में फैला है और एक दिन में 35 हजार क्विंटल खरीदी की क्षमता है। अत: यहां जल्दी अनाज बिक जाने की आस लेकर किसान यहां आते हैं।
इसलिए हुआ था विवाद
दरअसल, कृषि उपज मंडी परिसर में आज के किसानों के अलावा 70 किसान कल के भी मौजूद थे। इस दौरान आज के किसानों ने बीच में अपना अनाज लगाकर बिक्री की कोशिश की तो कल के किसानों ने आपत्ति उठायी। आज आये किसान कुछ कल आये अपने साथियों के साथ बीच में प्रवेश करके अपनी उपज बेचने का प्रयास करने लगे थे। अन्य किसानों ने इस पर घोर आपत्ति दर्ज करायी और विवाद करना प्रारंभ कर दिया। इसके बाद आखिरकार व्यापारियों ने उपज की खरीद बंद कर दी। सूचना पर पहुंचे एसडीएम सतीश राय ने बातचीत कर खरीद प्रारंभ करायी।
हरदा से भी आ रहे हैं किसान
हरदा में कोरोना पॉजिटिव मरीज मिलने के बावजूद इस जिले से किसान बड़ी संख्या में यहां इटारसी उपज मंडी में अनाज बेचने आ रहे हैं। यहां एक दिन में चार से पांच सौ किसान आने से काफी भीड़ हो रही है जिससे फिजिकल डिस्टेंसिंग के नियम का पालन नहीं हो पा रहा है। इस पर मंडी सचिव का कहना है कि गेट पर ही थर्मल स्क्रीनिंग, आटोमेटिक सेनेटाइजर मशीन से सेनेटाइज किया जाता है, किसानों के नाम, मोबाइल नंबर, जिला, गांव का नाम लिखा जाता है जिससे भविष्य में कोई स्थिति बनती है तो डेटा कलेक्टर करने में किसी प्रकार की दिक्कत न हो।
इसलिए नहीं करते मैसेज
एक साथ बहुत सारी भीड़ न हो, इसके लिए गेहूं खरीद के समय जैसी व्यवस्था की जा सकती है कि एक दिन में कम से कम सौ किसानों को ही मैसेज करके बुलाया जाए, लेकिन मंडी प्रबंधन का मानना है कि यह व्यवस्था केवल इटारसी तहसील के लिए तो कारगार हो सकती है। लेकिन, दूसरे जिलों से भी बड़ी संख्या में किसान आते हैं, उनको यहां से मैसेज भेजने की कोई व्यवस्था करना व्यवहारिक तौर पर काफी कठिनाई भरा होगा। इटारसी उपज मंडी में पांच जिलों के किसान अपनी उपज लेकर बेचने आ रहे हैं, ऐसे में इस तरह की कोई व्यवस्था की जाना संभव नही है।
इनका कहना है…
इटारसी मंडी में प्रतिदिन आसपास की 3-4 हजार क्विंटल प्रतिदिन और बाहर से भी मिलाकर लगभग दस हजार क्विंटल प्रतिदिन अनाज की आवक हो रही है। ऐसे में कुछ आज आये किसानों ने बीच में उपज बेचने की कोशिश की तो कल आये किसानों ने आपत्ति ली थी, इस कारण करीब पंद्रह मिनट के लिए बिक्री रुकी थी। बातचीत के बाद खरीद कार्य पुन: प्रारंभ हो गया था।
उमेश बसेडिय़ा शर्मा, मंडी सचिव

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