चुनावी समर है, और सभा, भाषण, प्रचार करने चीखते लाउड स्पीकर गली-गली में घूम रहे हैं। पार्षद का चुनाव है और इस सबसे छोटी इकाई में खुद को जिताने के लिए लोग रिश्तों में जहर घोल देने की हद तक जा रहे हैं। हर वार्ड में हर कोई नेता बना फिर रहा है। छुटका नेता, बड़का नेता, खादी का कुर्ता पहने, जींस-शर्ट पहने। सबका अपना असर है। हर कोई इस बात को जताने में कसर नहीं कर रहा है कि उसकी मेहनत से ही उस वार्ड में पार्षद बनेगा।
चुनाव आचार संहिता के तहत सोमवार 4 जुलाई को शाम 5:00 बजे लाउडस्पीकर का शोर थम जाएगा और फिर आगामी 6 जुलाई को होने जा रहे नगरी निकाय के चुनाव के मतदान के लिए प्रत्याशी घर-घर वोटरों से वोट मांगने के लिए शांति पूर्वक प्रचार कर सकते हैं।
हर कोई इन दिनों रणनीतिकार और बेहद उच्च दर्जे का राजनीतिक विश्लेषक बना हुआ है। जनमत को हथियाने की खातिर प्रत्याशी और राजनीतिक दल हर प्रकार के हथकंडे अपना रहे हैं। क्योंकि यह बेला पांच वर्ष में एक बार आती है और यदि यह मौका हाथ से निकल गया तो कई अगले पांच वर्ष बाद चुक गये होंगे।
रिमझिम फुहारों के बीच वायदों की बौछार भी देखने-सुनने को मिल रही है। नयी-नयी सियायत के रंग देखने को मिले रहे हैं। कहीं डराने-धमकाने का अपराध चल रहा है तो कहीं अपराध को जड़मूल खत्म करने की चेतावनी दी जा रही है। आरोप-प्रत्यारोपों की भी लंबी फेहरिस्त पढ़ी जा रही है और नित नयी इबारत गढ़ी जा रही है।
हरेक का अपना हाई प्रोफाइल वार्ड
जिस वक्त चुनावों के बाद टिकट के लिए संघर्ष चला, शहर का केवल एक वार्ड ही हाई प्रोफाइल माना जा रहा था। नंबर था 15, और जब टिकट की घोषणा हो गई तो 16 नंबर भी इसी सूची में शामिल हो गया। भाजपा नेता और विगत करीब दो वर्ष से लगातार जनता के बीच जाकर अध्यक्ष पद के लिए मेहनत कर रहे जगदीश मालवीय तो भाजपा से 15 नंबर से टिकट मांगी थी। लेकिन, यहां पार्टी के जिला मंत्री कल्पेश अग्रवाल ने दावा ठोंक दिया था। यह उनका गृह वार्ड है, सो बाजी उनके हाथ लगी। जगदीश मालवीय को पार्टी ने एक अंक बढ़ाकर 16 नंबर भेज दिया। उनके वहां पहुंचते ही वह वार्ड भी हाई प्रोफाइल हो गया। क्योंकि जगदीश मालवीय, विधायक डॉ.सीतासरन शर्मा के खास सिपाहसालार और पहली पसंद रहे हैं।
बहरहाल, वक्त के साथ हाई प्रोफाइल वार्ड की संख्या में भी इजाफा हो गया है। वार्ड क्रमांक 30, जहां से कांग्रेस से पूर्व पार्षद और पूज्य पंचायत सिंधी समाज के अध्यक्ष धर्मदास मिहानी और भाजपा से पूर्व पार्षद हरप्रीत सिंघ छाबड़ा चुनाव मैदान में हैं। इस वार्ड में सिंधी और पंजाबी वोट बड़ी संख्या में है। एफसीआई के सामने झुग्गी क्षेत्र से दो प्रत्याशी आ जाने से यहां की वोट इन दोनों के बीच बंटने की गुंजाईश के साथ सिंधी और पंजाबी वोटों से फैसला माना जा रहा है। वार्ड क्रमांक 23 से शेष मेहरा और राकेश जाधव आमने सामने हैं।
पहला हाई प्रोफाइल वार्ड
वार्ड क्रमांक 15 को पहला हाई प्रोफाइल वार्ड करें तो गलत नहीं होगा। यहां अब कांग्रेस के नगर अध्यक्ष पंकज राठौर और भाजपा के जिला महामंत्री कल्पेश अग्रवाल के मध्य ही मुकाबला माना जा रहा है। हालांकि यहां से भाजपा से बगावती महिला नेत्री भी चुनाव मैदान में है। वार्ड में भाजपा और कांग्रेस के कार्यकर्ता अपने-अपने नेता को जिताने में जी-जान लगा रहे हैं। पांच वर्ष भाजपा का शासन रहा और कल्पेश अग्रवाल की चाची नगर पालिका अध्यक्ष रहीं। कांग्रेस उस कार्यकाल की कमजोरी को उजागर कर रही है तो भाजपा उस दौरान किये विकास कार्य को भुनाने की कोशिश कर रही है। देखना है, ऊंट किस करवट बैठता है।