जैविक खेती एवं बीज संवर्धन पर किसानों को ध्यान देना आवश्यक

जैविक खेती एवं बीज संवर्धन पर किसानों को ध्यान देना आवश्यक

इटारसी। भारतीय किसान संघ (Indian Farmers Association) के राष्ट्रीय बीज प्रभारी कृष्ण मुरारी वैद्य के इटारसी (Itarsi) प्रवास पर उन्होंने संघ के जिला पदाधिकारियों के साथ बीज संवर्धन (Seed Promotion) एवं जैविक खेती (Organic Farming) तथा गौ संवर्धन (Cow Promotion) के उपायों से अवगत कराया।
पुरानी इटारसी स्थित संघ कार्यालय में आयोजित बैठक में वैद्य कृष्णमुरारी ने बताया की वर्तमान समय में किसान (Farmer) जहरीली खेती (Poisonous Farming) कर रहा है जिससे स्वास्थ्य को भी हानि हो रही है। मनुष्य की औसत आयु भी जहरीली खेती के परिणाम स्वरुप घट रही है। ऐसे में किसानों को बीज संवर्धन कर जैविक खेती की ओर ध्यान देना आवश्यक है। यूरिया (Urea) व डीएपी (DAP) से स्वास्थ्य को हानि पहुंच रही है। भारतीय समाज (Indian Society) में यूरिया एवं डीएपी के भी अनेकों विकल्प मौजूद हैं जिनकी ओर हमें अग्रसर होना आवश्यक है। गुजरात की एक प्रतिष्ठित नस्ल की गिर गाय जोकि ब्राजील देश के किसान गुजरात (Gujarat) से ले गए एवं उनका नंदी संवर्धन किया और वही गिर गाय (Gir cow) आज ब्राजील (Brazil) में 62 लीटर दूध प्रतिदिन देती है। हमारे देश के किसान भी इसी प्रकार संबर्धन कर पशुपालन एवं दुग्ध उत्पादन में बढ़ोतरी कर सकता है किंतु इस और ध्यान देना आवश्यक है तभी यह संभव होगा। अनेकों विदेशी कंपनियां जींन से छेड़छाड़ कर बीज, पौधे अथवा पशुओं की नई नस्ल तैयार करती है जो कि हानिकारक होता है और उसी का उपयोग हम सभी दैनिक जीवन में करते हैं। इसलिए स्वदेशी तकनीक से हर क्षेत्र में संवर्धन कर हम अपने स्वास्थ्य किसान समाज के स्वास्थ्य को हानि पहुंचने से बचा सकते हैं।
कृष्ण मुरारी ने बताया कि किस प्रकार हम हर क्षेत्र में संवर्धन करके एवं जैविक रूप से यूरिया व डीएपी का विकल्प तैयार करके खेती कर सकते हैं। बैठक में भारतीय किसान संघ के संभाग संगठन मंत्री दिनेश शर्मा, संभाग अध्यक्ष सर्वज्ञ दीवान, संभाग मीडिया प्रभारी शिव मोहन सिंह, जिलाध्यक्ष देवेंद्र पटेल, जिला सहमंत्री रजत दुबे, विजय पटैल, संभाग सदस्य मंगलसिंह राजपूत, बलदेव मलैया, ग्यारसा पटैल, कृष्णपुरी गोस्वामी आदि उपस्थित रहे।

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AUTHORRohit

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