होशंगाबाद। तृतीय अपर सत्र न्यायाधीश सुरेश कुमार चौबे की अदालत ने करीब सवा साल पुराने एक दुष्कर्म के मामले में आरोपी पंजाब नेशनल बैंक के मैनेजर को दस वर्ष का कारावास और दस हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई है। मामला 30 मई, 2018 का है, जब बैंक मैनेजर ने महिला को लोन दिलाने के नाम पर उसके साथ दुष्कर्म किया था।
तृतीय अपर सत्र न्यायाधीश सुरेश कुमार चौबे की अदालत ने शनिवार को दुष्कर्म के आरोपी पंजाब नेशनल बैंक के शाखा प्रबंधक राजकपूर को दस वर्ष का सश्रम कारावास और दस हजार रुपए अर्थदंड अधिरोपित किया है। अपर लोक अभियोजक केशव सिंह चौहान ने बताया कि 26 मई 2018 को तत्कालीन शाखा प्रबंधक पंजाब नेशनल बैंक को फरियादी ने छोटे उद्योग के लिए आवेदन दिया था। जब शाखा प्रबंधक ने कहा था कि नगर पालिका से अनुमति लेनी पड़ेगी। साथ ही अन्य दस्तावेज भी प्रस्तुत करना होगा। उसने बैंक अकाउंट की पासबुक मांगी और कहा कि तुम लोन कैसे चुकाओगी। फरियादी ने 30 मई 18 को फोन लगाकर शाखा प्रबंधक से लोन संबंधी जानकारी मांगी तो शाखा प्रबंधक राजकपूर ने उसे घर आने को कहा। जब फरियादी उसके घर पहुंची तो उसे हाल में बैठने को कहा। फिर उसको कहा कि बहुत गर्मी हो रही है, तुम हाथ-मुंह धो लो। जब वह बाथरूम में गयी तो शाखा प्रबंधक ने पीछे से पकड़कर उसे बेडरूम में ले गया और दुष्कर्म किया। फरियादी ने घटना की शिकायत कोतवाली होशंगाबाद में 31 मई 18 को दर्ज करायी। मामले में विचारण के उपरांत शनिवार को आरोपी को दोषी मानते हुए दस वर्ष का कारावास, दस हजार रुपए अर्थदंड और अर्थदंड अदा न करने की सूरत में तीन माह का अतिरिक्त कारावास से दंडित किया।