जबलपुर। कोविड की कठिन चुनौतियों के बावजूद पश्चिम मध्य रेल ने रेलवे राजस्व की आय में पिछले वर्ष की तुलना से अधिक आय अर्जित कर रिकॉर्ड बनाया है। पश्चिम मध्य रेल (West Central Railway) ने इस वर्ष 2021के अप्रैल से अगस्त तक कुल रुपये 2171.99 करोड़ रेल राजस्व की आय अर्जित की है। गत वर्ष की कुल रेल राजस्व आय रुपये 1525 करोड़ थी जो कि 42 प्रतिशत से अधिक है।
पमरे ने पैसेंजर यातायात में अप्रैल से अगस्त 2021 तक रेलवे रेवेन्यू रुपये 413.43 करोड़ जो कि गत वर्ष की रेवेन्यू रुपये 23.99 करोड़ की तुलना में 1623 प्रतिशत रिकॉर्ड वृद्धि हुई है। इसके अलावा अन्य कोचिंग रेवेन्यू से रुपये 51.65 करोड की आय अर्जित हुई है। इसी प्रकार पिछले चार महीने से लगातार सबसे अधिक आय का भाग माल ढुलाई में पुन: रिकॉर्ड को कायम रखते हुए माह अप्रैल से अगस्त 2021 तक पिछले वर्ष के इस अवधि की तुलना में 15 प्रतिशत अधिक रुपये 1649.14 करोड़ का राजस्व प्राप्त किया है। इसके अतिरिक्त संड्डरी रेवेन्यू में भी पिछले वित्तिय वर्ष के इस अवधि की तुलना में 10 प्रतिशत अधिक रुपये 57.77 करोड़ प्राप्त किया है। इस प्रकार पमरे ने अप्रैल से अगस्त 2021 तक रेल राजस्व की आय में कुल रुपये 2171.99 करोड़ में वृद्धि हुई जो कि इसी अवधि में पिछले वर्ष की तुलना 42 प्रतिशत अधिक है।
इस तरह पश्चिम मध्य रेल कोविड-19 संक्रमण के दुसरी लहर के समय भी लॉकडाउन (Lockdown) के कारण यात्री यातायात में आय पर पड़े प्रभाव को समायोजित कर रेल के पहिए को तीव्र गति से चलाने के उद्देश्य रेलवे द्वारा नित नए-नए प्रयास किए गए। इसके अंतर्गत लोडिंग की दिशाओं में नये आयाम व्यापार विकास इकाइयां स्थापित किये गये। इसके अलावा नये लोडिंग स्ट्रीम में माल ढुलाई को बढ़ावा दिया गया है। फ्रेट लोड मालगाडिय़ों की औसत गति में वृद्धि करके रेल खण्ड की क्षमता में बढ़ोत्तरी हुई। जिससे फ्रेट मालगाडिय़ों के संचालन में तेजी आयी और अधिक से अधिक माल ढुलाई के लादान में वृद्धि हुई। यात्री यातायात के लिए अधिक से अधिक मेल एक्सप्रेस के संचालन के साथ-साथ मेमू ट्रेनों का भी शुरुआत करके रेलवे रेवेन्यू में वृद्धि की गई। कोविड-19 प्रोटोकॉल के तहत सभी दिशा निर्देश का पूर्णत: से पालन करते हुए ट्रेनों का संचालन किया गया।
पश्चिम मध्य रेल के महाप्रबंधक शैलेन्द्र कुमार सिंह के मार्गदर्शन में तीनों मण्डलों के मण्डल रेल प्रबंधकों के नेतृत्व में कार्य करते हुए गाडिय़ों के सुचारू एवं संरक्षित परिचालन तथा उनकी समयबद्धता तथा माल गाडिय़ों के सुगम एवं तेज परिचालन पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। जिससे पमरे की रेलवे रेवेन्यू को बढ़ाने में काफी मददगार साबित हुआ है।